
हिजाब के समर्थन में जमा हुईं मुस्लिम छात्राएं, कहा- धार्मिक चिन्हों के साथ आना गलत नहीं, यही है 'विविधता में एकता'
जयपुर. हिजाब को माध्यम बनाकर कुछ असमाजिक तत्वों ने पूरे देश में एक नया विवाद खड़ा कर दिया है। ऐसे में हमारा कर्त्तव्य है कि आपसी संवाद के माध्यम से इस सम्बन्ध में पैदा हुई तमाम भ्रांतियों को दूर किया जाए। ये कहना है गर्ल्स इस्लामिक ऑर्गेनाइजेशन (जीआईओ) की संरक्षक रूबीना अबरार का जो अल्बर्ट हॉल के बाहर हिजाब के समर्थन में हुए प्रदर्शन के कार्यक्रम को संबोधित कर रही थीं। शनिवार को बड़ी संख्या में शहर की मुस्लिम छात्राओं ने एकत्रित होकर कर्नाटक और जयपुर के चाकसू में हुई हिजाब पर विवाद की घटनाओं की निंदा की।
'मुस्लिम छात्राओं के हिजाब का ही विरोध क्यों'
कार्यक्रम संयोजक आलिया गफ्फार ने कहा कि कट्टरपंथी धर्म और धार्मिक प्रतीकों के बारे में मनचाही भ्रांतियां फैलाकर देश में अलगाव की भवना को हवा दे रहे हैं। प्रतापनगर इकाई की पदाधिकारी हिबा नाज ने कहा कि जब देश में एक स्थान पर विभिन्न धर्मों के लोग अपनी आस्था के चिन्हों के साथ जमा होते हैं तब ही देश की विविधता में एकता साकार होती है, जिसे कुछ लोग खत्म करने की कोशिश कर रहे हैं। शास्त्री नगर इकाई की नसमा राहत ने कहा कि जिस तरह शादीशुदा हिंदू छात्राएं कॉलेज में मंगलसूत्र और सिंदूर लगाकर आती हैं। सिख समाज के छात्र भी अपने धार्मिक चिन्हों के साथ आते हैं। ऐसे में मुस्लिम छात्राओं के हिजाब का ही विरोध क्यों हो रहा है। इस दौरान वेलफेयर पार्टी ऑफ इंडिया के जयपुर अध्यक्ष अब्दुल गफ्फार, महिला मोर्चा संयोजिका गजाला परवीन और मुस्लिम यूथ फोरम के वाइस प्रेसिडेंट शारिक पठान ने भी संबोधित किया।
अन्य धर्मावलंबियों से किया संवाद
जीआईओ करबला इकाई की सिद्रा शकील ने बताया कि प्रदर्शन के दौरान 'आओ! इस्लाम में महिलाओं के बारे में बात करें' विषय पर अन्य धर्मावलंबियों से संवाद भी किया गया। जमाते इस्लामी हिन्द के प्रदेशाध्यक्ष मुहम्मद नाजिमुद्दीन और नईम रब्बानी ने बताया कि प्रदर्शन के दौरान मुस्लिम समेत अन्य धर्मों की महिलाओं को जीआईओ की ओर से इस्लाम और हिजाब से संबंधित साहित्य भी वितरित किया गया। इस बीच जमाते इस्लामी हिंद करबला इकाई अध्यक्ष मोहम्मद इमरान, रामगंज बाजार इकाई अध्यक्ष अबरार अहमद ने भी अपने विचार रखे।
'लज्जा सप्ताह' के तहत हुआ कार्यक्रम का आयोजन
कार्यक्रम के मीडिया संयोजक साबिर मंसूरी ने बताया कि जीआईओ की ओर से 'हया वीक' यानि 'लज्जा सप्ताह' मनाया जा रहा है, इसी के तहत इस कार्यक्रम का आयोजन हुआ है। ताकि अन्य धमों की बहनों को इस्लाम में लज्जा की अवधारणा और बुनियादी बातों से अवगत कराया जाए। एसआईओ के अब्दुल हकीम ने बताया कि वर्तमान में हर भारतीय को स्वंय के अलावा दूसरों के धर्म के बारे में जानना बहुत जरूरी है। इससे आपसी भ्रांतियां दूर होंगी और सामाजिक सद्भाव मजबूत होगा।
ये भी रहे उपस्थित
जमाते इस्लामी हिंद राजस्थान के सहसचिव फिरोज आलम, एसआईओ के प्रदेश शिक्षा सचिव आफाक अंसार, जयपुर अध्यक्ष मोहम्मद शादान, समाजसेवी मोहसिन रशीद समेत कई गणमान्य लोग उपस्थित रहे।
इधर, फेडरेशन ने कहा- 'गंदी सियासत के तहत दिया जा रहा है हिजाब मामले को तूल'
वहीं दूसरी ओर कर्नाटक और जयपुर के चाकसू के शिक्षण संस्थानों में हिजाब पहनकर आईं छात्राओं को रोकने की घटनाओं की मुस्लिम प्रोग्रेसिव फेडरेशन ने निंदा की है। कन्वीनर अब्दुल सलाम ने कहा कि गंदी सियासत, राजनीतिक स्वार्थ और निजी एजेण्डा के तहत हिजाब पहनने पर विवाद को तूल दिया गया है। जौहर ने कहा कि कुछ असमाजिक तत्व देश में अशांति और नफरत फैलाकर संविधान विरोधी कार्य कर रहे हैं। ऐसे लोगों के खिलाफ सर्व समाज को आगे आकर इस क्रत्य की भर्त्सना करनी चाहिए। ताकि देश कि सदभावना न बिगड़ा जाए। साथ ही इस मामले में कोर्ट का फैसला आने तक शांति कायम रखनी चाहिए।
Published on:
12 Feb 2022 09:56 pm
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