
राजधानी में जुटे निजी स्कूल संचालक,दिया 15 दिन का अल्टीमेटम
जयपुरए 13 अगस्त
आरटीई का भुगतान किए जाने, पहली से 12वीं तक के स्कूल खोले सहित 11 सूत्रीय मांगों को लेकर शुक्रवार को एक बार फिर निजी स्कूल संचालक राजधानी में जुटे। प्रदेश भर से आए इन निजी स्कूल संचालकों ने शुक्रवार सुबह पैदल मार्च निकाला जिसके चलते अजमेर पुलिया पर कुछ देर के लिए जाम की स्थिति पैदा हो गई। मौके पर पहुंची पुलिस ने उनकी समझाइश कर उन्हें शहीद स्मारक पर भेजा जहां उन्होंने धरना दिया।
पैदल यात्रा के समर्थन में प्रदेशभर से स्कूल बचाओ समिति की कार्यकारिणी के सैकड़ों पदाधिकारी भी जयपुर पहुंचे। जानकारी के मुताबिक इससे पूर्व निजी स्कूल संचालक अपनी मांगों को लेकर ब्यावर से 225 किलोमीटर की दूरी तय कर राजधानी जयपुर पहुंचे और अजमेर रोड पर हीरापुरा पावर हाउस होते हुए पैदल मार्च के रूप में मुख्यमंत्री निवास की ओर से रवाना हुए जिन्हें सिविल लाइंस फाटक के पास ही पुलिस ने समझाइश कर रोका इस दौरान उनकी पुलिस ने कहासुनी भी हुई। कुछ देर की बहस के बाद पुलिस ने उन्हें शहीद स्मारक पर धरना देने की इजाजत दी। निजी स्कूल संचालकों ने शहीद स्मारक पर अपना पड़ाव डाल दिया और मुख्यमंत्री अशोक गहलोत से मिलने की मांग की।
जानकारी के मुताबिक निजी स्कूल संचालकों का पूरा समूह 9 अगस्त को ब्यावर से राजधानी के लिए निकला था जो शुक्रवार को जयपुर पहुंचा था। इन स्कूल संचालकों का कहना है कि 17 महीनों से स्कूलें बंद हैं और निजी स्कूल संचालकों के सामने स्टाफ को वेतन देने का संकट खड़ा हो गया है। सरकार द्वारा सुप्रीम कोर्ट के आदेश की पालना करवाने के लिए भी कोई कदम नहीं उठाए जा रहे हैं।प्रदेश के निजी स्कूल संचालक अब त्रस्त हो चुके हैं। फोरम ऑफ प्राइवेट स्कूल ऑफ राजस्थान की प्रवक्ता हेमलता शर्मा के साथ 11 सदस्यों के प्रतिनिधिमंडल की सरकार के प्रतिनिधियों के साथ हुई वार्ता के बाद धरना स्थगित करने का निर्णय लिया गया। हेमलता शर्मा ने कहा कि वार्ता सकारात्मक रही है। हमने सरकार को 15 दिन का समय दिया है यदि इस दौरान हमारी मांगों पर कार्यवाही नहीं होती तो निजी स्कूल संचालक फिर से आंदोलन करने पर मजबूर होंगे।
Published on:
13 Aug 2021 08:57 pm
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