
फोटो देखकर बना रहे थे पीयूसी सर्टिफिकेट, आरटीओ ने पकड़ा, छह निलंबित किए
जयपुर। राजधानी में वाहनों की प्रदूषण जांच करने वाले पीयूसी सेंटरों पर गड़बड़़ी उजागर हुई है। महज फोटो के आधार पर ही सर्टिफिकेट बनाया जा रहा है। परिवहन आयुक्त के निर्देश पर आरटीओ की ओर से शहर में एक दर्जन से अधिक सेंटरों की औचक जांच कराई गई है। इसमें छह सेंटरों में फर्जीवाड़ा सामने आया। सेंटरों पर बिना मशीन ऑफ लाइन तरीके से ही प्रदूषण सर्टिफिकेट बनाए जा रहे थे। ऑनलाइन सॉफ्टवेयर में गड़बड़ी सामने आते ही उक्त सेंटरों को चिह्नित कर कार्रवाई की गई। छह सेंटरों को 15 दिन के निलंबित कर जुर्माना लगाया है। आरटीओ राजेन्द्र वर्मा ने बताया कि मैसर्स सालासर बालाजी मोबाइल प्रदूषण जांच केन्द्र, ज्ञान सिंह रायका, गोविंदा मोबाइल प्रदूषण जांच केन्द्र, दिनेश नायक प्रदूषण, धर्मेश मोबाइल प्रदूषण, ओमप्रकाश मेहता प्रदूषण केन्द्र की सेवाएं 15 दिन के लिए निलंबित की गई है। इसके अलावा शहर में आधा दर्जन चालान किए गए हैं। इनमें वाहन बिना फिटनेस मिला और चालक के पास लाइसेंस नहीं मिला।
पत्रिका ने उठाया था मामला
राजस्थान पत्रिका ने पिछले महीने स्टिंग कर यह मामला उठाया था। पत्रिका ने मंत्री और कलक्टर के वाहनों के पीयूसी सर्टिफिकेट महज फोटो के आधार पर बनवा लिए थे। इस खबर के बाद परिवहन विभाग की ओर से पीयूसी सेंटरों पर सख्ती की गई है।
Published on:
17 Oct 2019 01:14 am
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