
फोटो- पत्रिका नेटवर्क
Rajasthan News: राजस्थान लोक सेवा आयोग की सदस्य मंजू शर्मा ने सोमवार को अपने पद से इस्तीफा दे दिया है। बताया जा रहा है कि मंजू शर्मा ने यह इस्तीफा 2021 की सब इंस्पेक्टर (SI) भर्ती परीक्षा में पेपर लीक और धांधली के मामले में राजस्थान हाईकोर्ट की तल्ख टिप्पणियों के बाद दिया है।
बता दें, इस मामले ने न केवल राजस्थान की भर्ती प्रक्रिया की पारदर्शिता पर सवाल खड़े किए, बल्कि आरपीएससी की विश्वसनीयता को भी कटघरे में खड़ा किया था।
मंजू शर्मा ने राज्यपाल के नाम इस्तीफा लिखते हुए कहा कि मैंने अपना पूरा कार्यकारी व निजी जीवन अत्यन्त पारदर्शिता व ईमानदारी से काम करते हुए व्यतीत किया है किंतु गत दिनों एक भर्ती प्रक्रिया में उत्पन्न हुए विवाद के कारण मेरी व्यक्तिगत प्रतिष्ठा एवं पूरे आयोग की गरिमा प्रभावित हुई है। जबकि मेरे विरुद्ध किसी भी पुलिस संस्थान अथवा किसी भी जांच एजेंसी में न किसी प्रकार की कोई भी जांच लंबित है और न ही मुझे किस भी प्रकरण में कभी भी अभियुक्त माना गया है।
उन्होंने कहा कि फिर भी, सार्वजनिक जीवन में शुचिता की सदैव पक्षधर होने के कारण आयोग की गरिमा, निष्पक्षता एवं पारदर्शिता को सर्वोपरि मानते हुए मैं स्वेच्छा से राजस्थान लोक सेवा आयोग की सदस्य पद से अपना त्यागपत्र दे रही हूँ।
बताते चलें कि वर्ष 2021 में तत्कालीन कांग्रेस सरकार के कार्यकाल में आयोजित सब इंस्पेक्टर भर्ती परीक्षा को राजस्थान हाईकोर्ट ने हाल ही में रद्द कर दिया था। इस भर्ती में बड़े पैमाने पर अनियमितताएं और धांधली सामने आई थीं। हाईकोर्ट ने अपने फैसले में कहा कि भर्ती का आयोजन करने वाली संस्था आरपीएससी के कुछ सदस्यों ने ही पेपर लीक करने में भूमिका निभाई।
कोर्ट ने कहा कि माफियाओं ने लीक हुए पेपर को सैकड़ों अभ्यर्थियों को बेचा, जिसके चलते डमी अभ्यर्थियों की भी परीक्षा में भागीदारी हुई। इस घोटाले ने न केवल भर्ती प्रक्रिया की निष्पक्षता को प्रभावित किया, बल्कि हजारों मेहनती अभ्यर्थियों के भविष्य पर भी सवालिया निशान लगा दिया।
गौरतलब है कि हाईकोर्ट के जस्टिस समीर जैन ने इस मामले की सुनवाई के दौरान आरपीएससी के छह सदस्यों पर कड़ी टिप्पणी की। उन्होंने कहा कि घर के भेदियों ने ही लंका ढहा दी। जस्टिस जैन का इशारा आरपीएससी के उन सदस्यों की ओर था, जिन्होंने कथित तौर पर पेपर लीक करने और धांधली में शामिल होने का रास्ता तैयार किया।
इन छह सदस्यों में मंजू शर्मा का नाम भी शामिल था। कोर्ट ने यह भी उल्लेख किया कि आरपीएससी के पूर्व अध्यक्ष सहित कुछ सदस्यों ने भर्ती प्रक्रिया में गलत प्रभाव डाला।
मंजू शर्मा को तत्कालीन कांग्रेस सरकार ने आरपीएससी का सदस्य नियुक्त किया था। बता दें, उनकी नियुक्ति उस समय चर्चा का विषय रही थी और अब पेपर लीक मामले में उनका नाम सामने आने के बाद नियुक्ति पर सवाल उठ रहे हैं।
Updated on:
01 Sept 2025 06:57 pm
Published on:
01 Sept 2025 05:58 pm
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