
जयपुर।
संघ लोक सेवा आयोग की सिविल सेवा परीक्षा-2022 के मंगलवार को जारी नतीजों में राजस्थान के होनहारों ने भी कमाल कर दिखाया है। ख़ास बात ये है कि हर अभ्यर्थी की सफलता के पीछे उनकी अलग ही संघर्ष की कहानी है। ऐसी ही एक संघर्ष की कहानी सामने आई है जयपुर के बरकत नगर निवासी अनिरुद्ध जैन की, जिन्होंने इस प्रतिष्ठित परीक्षा में ऑल इंडिया 295वीं रैंक हासिल की है।
तीसरा अटेम्प्ट, मिली सफलता
सिविल सेवा परीक्षा में चयनित अनिरुद्ध ने पत्रिका डिजिटल से बातचीत में बताया कि यूपीएससी परीक्षा का इस बार का उनका ये तीसरा अटेम्प्ट था। पहले प्रयास में असफल रहने के बाद उन्होंने हिम्मत नहीं हारी और दूसरे प्रयास में उनका चयन सिविल सेवा के ही अंतर्गत आने वाली भारतीय सूचना सेवा में हो गया। वर्तमान में वे भारत सरकार के सूचना और प्रसारण मंत्रालय द्वारा नई दिल्ली में संचालित भारतीय जनसंचार संस्थान (आईआईएमसी) में ट्रेनिंग पीरड पर हैं।
टाइम मैनेजमेंट की रही चुनौती
अनिरुद्ध ने बताया कि सिविल सेवा परीक्षा की तैयारी के दौरान सबसे ज़्यादा चुनौती टाइम मैनेजमेंट की रही। उन्होंने बताया कि दिन का ज़्यादातर समय भारतीय सूचना सेवा में ट्रेनिंग सेशन में बीत रहा था। इसी बीच उन्हें सिविल सेवा में अपने तीसरे अटेम्प्ट में और बेहतर रैंक से पास होने की चुनौती थी। ऐसे में ट्रेनिंग और तैयारी के बीच का तालमेल बैठाना सबसे मुश्किल काम रहा।
इंटरव्यू के लिए की ख़ास तैयारी
पत्रिका डिजिटल से बातचीत में अनिरुद्ध ने बताया कि उन्होंने इंटरव्यू क्लीयर करने के लिए ख़ास तैयारी की। इसके लिए उन्होंने विभिन्न शिक्षण संस्थानों के मॉक इंटरव्यूज़ में शामिल होकर इसकी बारीकियों को समझा और सफलता के टिप्स पर काम किया। यूट्यूब पर मॉक इंटरव्यूज़ के वीडियोज़ ने भी तैयारी में काफी मदद की। इसके अलावा करंट अफेयर्स को लेकर भी ख़ास रणनीति के साथ तैयारी की।
परिवार में पहली सरकारी जॉब
अनिरुद्ध के अनुसार उनके पूरे परिवार में वे पहले सदस्य हैं जिन्होंने यूपीएससी क्लीयर किया है। यहां तक कि परिवार में कोई ऐसा सदस्य नहीं है जो सरकारी सेवा से जुड़ा हो।
स्कूलिंग जयपुर से, कॉलेज दिल्ली से
अनिरुद्ध जैन ने बताया कि उनकी स्कूलिंग और कॉलेज जयपुर से की, जबकि राजनीति विज्ञान मास्टर्स की डिग्री दिल्ली यूनिवर्सिटी से की।
पिता के ज़िम्मे टॉय ट्रेन, बेटे के ज़िम्मे 'सरकार'
यूपीएससी परीक्षा क्लीयर करने वाले अनिरुद्ध जैन के शुरूआती संघर्ष में उनके परिजनों की भूमिका सबसे महत्वपूर्ण रही। पिता अक्षय जैन जयपुर के एक उद्यान में टॉय ट्रेन का संचालन संभालते हैं, जबकि मां निशा जैन भी अपने पति का सहयोग करती हैं। बड़ा भाई सिद्धार्थ वर्त्तमान में मुंबई की एक आईटी फर्म में सीनियर पद पर जॉब कर रहे हैं। अनिरुद्ध के सिविल सेवा परीक्षा क्लीयर करने की जैसे ही खबर घरवालों को लगी सभी ख़ुशी से झूम उठे।
Published on:
24 May 2023 02:18 pm
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