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डॉ. प्रसाद के खिलाफ इंटक ने डीएम व एसपी को सौंपा ज्ञापन, ये लिखा है ज्ञापन में…

- दुबे ने डॉ. प्रसाद की डिग्री पर भी सवाल उठाते हुए उसका सत्यापन करवाने की मांग की है

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डॉ. प्रसाद के खिलाफ इंटक ने डीएम व एसपी को सौंपा ज्ञापन, ये लिखा है ज्ञापन में...

डॉ. प्रसाद के खिलाफ इंटक ने डीएम व एसपी को सौंपा ज्ञापन, ये लिखा है ज्ञापन में...

जांजगीर-चांपा. इंटक कांग्रेस की प्रदेश महासचिव सुनीता दुबे ने जिला मुख्यालय में शिशु चिकित्सा की दुकान चला रहे डॉक्टर प्रसाद सहित जिला अस्पताल के डॉक्टर व नर्स के बीच चल रहे सेटिंग के मामले की जांच कर सभी के ऊपर आपराधिक मामला दर्ज कर कार्रवाई करने की मांग की है।

सुनीता दुबे ने सोमवार को कलेक्टर व एसपी सहित सीएमएचओ, एसडीएम व कोतवाली थाना प्रभारी के नाम ज्ञापन सौंपकर लिखा है कि सीएमएचओ व जिला अस्पताल के प्रभारी सिविल सर्जन डॉ. वी जयप्रकाश ने जिस रेफर फार्म को फर्जी बताया है कि उसकी जांच की जाए कि वह डॉ. आरके प्रसाद के पास आया कहां से।

यदि वह रेफरल फार्म गलत पाया जाता है तो तत्काल ऐसे डॉक्टर के खिलाफ आपराधिक मामला दर्ज कर तत्काल उसका नर्सिंग होम एक्ट के तहत जारी लाइसेंस जब्त करें। दुबे ने यह भी लिखा है कि जिस प्रतिष्ठित अखबार ने गरीब पीडि़त परिवार की आवाज को उठाते हुए डॉ. प्रसाद की असलियत आम जनता के सामने लाने का प्रयास किया है उसे भी डॉक्टर द्वारा सोसल मीडिया दुष्प्रचारित कर बदनाम किया या है, जिससे वह काफी आहत हैं। उन्होंने इस कृत्य के लिए डॉ. प्रसाद के खिलाफ आईटी एक्ट के तहत मामला पंजीबध करने की मांग की है।

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प्रदेश महासचिव दुबे ने लिखा है कि जिला मुख्यालय में अपनी शिशु चिकित्सा की दुकान चला रहे डॉक्टर प्रसाद जिले के अस्पतालों की बदहाली का जमकर फायदा उठा रहे हैं। वह जिला अस्पताल में वहां की नर्स और डॉक्टरों से सेटिंग करके वहां डिलवरी होने वाले बच्चों को गंभीर बताकर अपने यहां बुलवाते हैं और फिर गरीब जनता से इलाज के नाम पर कमाई करते हैं। हालत यह है कि अस्पताल की नर्स अपनी ड्यूटी छोड़कर बच्चे को डॉ. प्रसाद के यहां पहुंचाने जाती है।

इलाज के दौरान यदि कोई बच्चा मर जाता है तो डॉ. प्रसाद सारा दोष जिला अस्पताल पर मढ़ दे रहे हैं। उन्होंने बताया कि आज से 10 साल पहले जब डॉ. प्रसाद चाम्पा में डाक्टरी करने आया था तो एक छोटी सी किराये की दुकान खोली थी, और आज एक बड़ा अंपायर खड़ा कर चुके हैं। दुबे ने डॉ. प्रसाद की डिग्री पर भी सवाल उठाते हुए उसका सत्यापन करवाने की मांग की है। उन्होंने चेतावनी दी है कि यदि इस मामले की जांच कर जल्द कार्रवाई नहीं की जाती तो इंटक नेता के बैनर तले जिला अस्पताल व डॉक्टर
के अस्पताल में उग्र आंदोलन किया जाएगा।

टैक्स चोरी का लगाया आरोप
इंटक कांग्रेस की प्रदेश महासचिव सुनीता दुबे ने ज्ञापन के माध्यम से आरोप लगाया है कि डॉ. प्रसाद ने टैक्स चोरी कर काफी बेनामी संपत्ति बनाई है। उनके द्वारा हर दिन जितने मरीज देखे जाते हैं उनके द्वारा पर मरीज २०० रुपए लिया जाता है इसके साथ ही अस्पताल की अन्य आय को जोड़कर जितनी आय वह सालाना करते हैं उसे वास्तविक न दर्शाकर टैक्स की चोरी कर रहे हैं। इससे उनकी चल अचल संपत्ति की जांच कर टैक्स चोरी के मामले की भी कार्रवाई की जाए।

आखिर कहां से आया वह डिस्चार्ज फार्म
इंटक नेता दुबे का कहना है कि डॉ. प्रसाद के ऊपर बच्चा बदलने व गलत इलाज का आरोप लगाते हुए परिजन जब हावी हुए तो 10 मिनट बाद वह एक रेफरल कार्ड लेकर आ गए, जो कि बैरिस्टर ठाकुर छेदीलाल शासकीय जिला अस्पताल जांजगीर का था। इस फार्म के सभी कॉलम तो भरे थे, लेकिन कार्ड में रेफरल नंबर, सील साइन नहीं था। इससे अब सवाल यह उठता है कि डॉक्टर के पास वह फर्जी रेफरल फार्म कहां से आया, जबकि सीएमएचओ डॉ. वी जयप्रकाश ने भी उसे फर्जी बताया है। इस मामले में एफआईआर दर्ज कर कार्रवाई की मांग की है।