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Naresh Meena: झालावाड़ जिले के पिपलोदी में स्कूल हादसे के बाद एसआरजी अस्पताल में प्रदर्शन के दौरान इमरजेंसी सेवाओं में बाधा डालने और स्टाफ के साथ गाली-गलोच करने के मामले में 10 दिन से जेल में बंद नरेश मीणा को शनिवार शाम को होईकोर्ट ने जमानत पर रिहा कर दिया गया है। गौरतलब है कि इससे पहले झालावाड़ कोर्ट ने उनकी जमानत को याचिका खारिज कर दिया था।
जेल से रिहा होने के बाद नरेश मीणा ने कहा कि उनकी कोई गलती नहीं थी। उन्होंने बताया कि धरना पहले से चल रहा था और वे केवल उसमें शामिल होने गए थे, तभी उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया। वह जमानत की सभी शर्तों का पालन करेंगे। उन्होंने स्पष्ट किया कि मेडिकल कॉलेज के डीन द्वारा लगाए गए आरोप निराधार हैं।
अंता विधानसभा उपचुनाव के बारे में नरेश मीणा ने कहा कि वह क्षेत्र में सर्वे करवाएंगे। समर्थकों की सहमति मिलने पर निर्दलीय उम्मीदवार के रूप में चुनाव लड़ने पर विचार करेंगे।
नरेश मीणा ने कहा कि अभी भी वह पिपलोदी हादसे के मृतकों के लिए एक करोड रुपए की मांग पर कायम है। उन्होंने कहा कि जब सांप्रदायिक दंगों में मरने वालों को करोड़ों में मुआवजा दिया जाता है, विमान हादसे में मरने वाले को लोगों को करोड़ों में मुआवजा दिया जाता है। फिर संस्थागत भ्रष्टाचार की वजह से स्कूल में जान गंवाने वाले बच्चों को क्यों नहीं दिया गया।
Published on:
06 Sept 2025 09:51 pm
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