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झांसी एनकाउंटर ने की थी अतीक को छुड़ाने की साजिश नाकाम, आसानी से हो सकते थे फरार

झांसी में हुए असद और गुलाम के एनकाउंटर ने अतीक को छुड़ाने की कोशिश को नाकाम कर दिया था। आसानी से मध्यप्रदेश की सीमा से हो सकते थे फरार। अतीक के करीबी सतीश पांडेय की सबसे बड़ी भूमिका।

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असद और गुलाम का एनकाउंटर स्पॉट।

15 अप्रैल की रात अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ की गोली मारकर हत्या कर दी गई। इसके बाद पूरे यूपी को हाई अलर्ट कर दिया गया है। यूपी एसटीएफ ने माफिया डॉन अतीक अहमद को पुलिस कस्टडी से छुड़ाने की साजिश को उस समय नाकाम कर दिया जब उमेश पाल हत्याकांड की अगुवाई कर रहे उसके बेटे असद और शूटर गुलाम को पारीछा डैम के पास मार गिराया। इसी इलाके के रहने वाले अतीक के फाइनेंसर सतीश पांडेय की बड़ी भूमिका नजर आ रही है। एसटीएफ ने उसके खिलाफ बड़ागांव थाने में एफआईआर दर्ज करवाई है।


पुलिस काफिले पर हमले की फिराक में थे

विश्वसनीय सूत्र बताते हैं कि पहले से स्थिति साफ हो चुकी थी कि साबरमती जेल से प्रयागराज जाने और प्रयागराज से साबरमती ले जाने के दौरान गिरोह के कुछ सक्रिय सदस्य पुलिस के काफिले पर हमला करना चाहते हैं। इसकी भनक एसटीएफ को लग गई और सभी संदिग्धों को एसटीएफ ने रडार पर ले लिया।


बबलू पांडेय ही निकला सतीश पांडेय

बीते 1 मार्च को यूपी एसटीएफ ने झांसी के पारीछा से बबलू पांडेय को अपनी हिरासत में लेकर पूछताछ की थी। 10 घंटे की पूछताछ में उसने गोलमोल जवाब दिए थे। आखिरकार एनकाउंटर के बाद बबलू ही निकाला सतीश पांडेय। उसका और गुड्डू मुस्लिम का आपस में कनेक्शन है। फिलहाल एसटीएफ ने सतीश पांडेय के खिलाफ बड़ागांव थाने में एफआईआर दर्ज करवा दी है।


प्रयागराज का मूल निवासी है सतीश पांडेय

सतीश पांडेय उर्फ बबलू मूल रूप से प्रयागराज का रहने वाला है। उसके पिता पारीछा पावर प्लांट में नौकरी करते थे। कई वर्ष पहले पूरा परिवार झांसी में आकर रहने लगा। सतीश पांडेय भी पावर प्लांट में ठेकेदारी करने लगा था। दो साल पहले ही सतीश के पिता की मौत हो गई थी। पिता की मौत के बाद उसने अपनी ठेकेदारी का दायरा बढ़ाया और हाईवे एवं अन्य बड़े प्रोजेक्ट में काम करने लगा। पूर्वांचल में बाहुबली अतीक के गुर्गे गुड्डू के संपर्क में आ गया। इसके बाद उसने उमेश पाल हत्या कांड के बाद गुड्डू को अपने घर में शरण दी।