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जोधपुर में रिटायर्ड अधिकारी को डिजिटल अरेस्ट कर 1 करोड़ 84 लाख रुपए ठगे, जानिए 5 दिनों तक ठगों ने क्या- क्या करने को कहा

Digital Arrest Jodhpur News: साइबर ठगों ने एक रिटायर्ड सरकारी अधिकारी को 5 दिन तक डिजिटली अरेस्ट कर 1 करोड़ 84 लाख रुपए की ठगी कर ली।

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TRAI अफसर और CBI बनकर रिटायर्ड महिला साइंटिस्ट से 42 लाख की ठगी, डिजिटल अरेस्ट का झांसा...(photo-patrika)

TRAI अफसर और CBI बनकर रिटायर्ड महिला साइंटिस्ट से 42 लाख की ठगी, डिजिटल अरेस्ट का झांसा...(photo-patrika)

जोधपुर से साइबर ठगी का मामला सामने आया है जहां साइबर ठगों ने एक रिटायर्ड सरकारी अधिकारी को 5 दिन तक डिजिटली अरेस्ट कर 1 करोड़ 84 लाख रुपए की ठगी कर ली। मामले को लेकर शनिवार को पीड़ित ने बनाड़ थाने में शिकायत दर्ज कराई है। पीड़ित रिटायर्ड अधिकारी ने बताया कि 25 नवंबर को उनके पास पहला कॉल आया जिसमें साइबर ठगों ने कहा कि आप मनी लॉन्ड्रिंग के एक मामले में संदिग्ध हैं। आपकी जान को खतरा है। इसके बाद साइबर ठगों ने मुझे 5 दिनों तक डिजिटल अरेस्ट करके रखा। उन्होंने मुझसे पर्सनल जानकारी ली और कहा कि आपके आधार नंबर से मुंबई में एक सिम अलॉट हुआ है। इस मोबाइल नंबर का इस्तेमाल मनी लॉन्ड्रिंग के एक मामले में किया गया है।

साइबर ठगों ने कहा- तुम्हारी जान को खतरा है

ठगों ने मुझे धमकाया कि तुम्हारे खाते, तुम्हारी प्रॉपर्टी और दूसरी चल-अचल संपत्ति जब्त कर ली जाएगी। मुझसे कहा कि इस केस में बड़े लोग शामिल हैं। तुम्हारी जान को खतरा है। अगर तुम जेल गए तो तुम्हारे परिवार को जान से मार देंगे। अगले दिन 26 नवंबर उन्होंने फर्जी सेटअप बनाकर मुझसे पूछताछ शुरू कर दी। तीन दिनों में जालसाजों ने मुझसे अलग-अलग रकम के 11 चेक बनवाए। इस तरह उन्होंने 1 करोड़ 84 लाख 50 हजार के चेक बनवा लिए। मैं इन चेक को जमा करने जाता रहा। जालसाजों ने मुझसे कहा कि अगर मैंने यह बात किसी को बताई तो इससे जांच में दिक्कत हो सकती है। मैं चुपचाप चला जाता और चेक बैंक में जमा करके वापस आ जाता। उन्होंने यह भी कहा कि यदि आपकी कोई संलिप्तता नहीं है तो आपके द्वारा जमा की गई राशि 24 घंटे के भीतर वापस कर दी जाएगी।

पैसे वापस नहीं आने पर किया कॉल

30 नवंबर को मैंने उस नंबर पर कॉल किया और पैसे मांगे। इस पर ठगों ने मुझे धमकाया और कहा- तुम्हें अपने भाई का नंबर भी देना होगा। परिवार को जान से मारने की धमकी सुनकर मैं डर गया और अपने भाई का नंबर भी दे दिया। ठगों ने मेरे भाई को भी ठगने की कोशिश की। मेरा भाई उनके झांसे में नहीं आया और उसने कॉल डिसकनेक्ट कर दिया। इसके बाद उसने मुझसे बात की। फिर दोनों भाइयों ने जाकर केस दर्ज कराया।

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