जोधपुर में फलोदी, लोहावट, बापिणी व देचू बेल्ट में टिड्डी डेरा जमाए हुए हैं। फलोदी के आसपास के गांवों में टिड्डी का अधिक डेरा है। यहां खींचन, ननेऊ, गुनेजों की ढाणी व होपरड़ी में सोमवार अलसुबह पेड़ों पर बैठी टिड्डी पर पेस्टीसाइड स्प्रे किया गया। 250 हेक्टेयर में करीब 70 प्रतिशत टिड्डी मार दी गई। लोहावट में छीला व धोलासर और बापिणी में कृष्णनगर में टिड्डी नियंत्रित की गई। मध्यप्रदेश में भी टिड्डी नियंत्रण के लिए राजस्थान से टीम भेजी गई है।
अब तक 60 हजार हेक्टेयर में स्प्रे
टिड्डी चेतावनी संगठन ने पिछले एक महीने में राजस्थान, मध्यप्रदेश, पंजाब, गुजरात में मिलाकार 60 हजार हेक्टेयर में टिड्डी नियंत्रण किया है। सर्वाधिक नियंत्रण कार्यक्रम राजस्थान में हुआ है। यहां श्रीगंगानगर से लगती अंतरराष्ट्रीय सीमा के साथ जोधपुर में टिड्डी का अधिक प्रकोप रहा।