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कानपुर में लोगों के साथ बड़ा धोखा, 40 करोड़ निवेश के बाद क्रैस करा दी वेबसाइट, ऐसे झांसे में आप भी न आए

UP News: उत्तर प्रदेश के कानपुर में लोगों के साथ निवेश के नाम पर बड़ा धोखा हुआ। जमा की एक एक पूंजी एक झटके में मार दी।

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 Fake Commodity Exchange website crashed after 40 crore investment in Kanpur

Fake Commodity Exchange website crashed after 40 crore investment in Kanpur

कमोडिटी एक्सचेंज की फर्जी वेबसाइट बनाकर शातिरों ने अक्तूबर से मई के बीच में लोगों को झांसे में लेकर 40 करोड़ का निवेश करा लिया। उसके बाद तीन बार वेबसाइट को क्रैश कराया। क्राइम ब्रांच की अब तक की जांच में यह बड़ा खुलासा हुआ है। इस गिरोह के चार आरोपितों को गिरफ्तार कर क्राइम ब्रांच पहले ही जेल भेज चुकी है। इसके मास्टर माइंड को लेकर अभी भी तलाश जारी है।

आरोपितों की गिरफ्तारी के बाद क्राइम ब्रांच ने उनसे कुछ वेबसाइट्स की आईडी, 6 मोबाइल फोन बरामद किए थे। उन वेबसाइट की आईडी के जरिए क्राइम ब्रांच साइबर सेल ने उसकी जांच शुरू की।जिसमें चौकाने वाली जानकारियां मिली। मोबाइल पर पुलिस को कुछ व्हाट्स एप चेट्स भी मिली। जिसमें ग्राहकों को लुभा‌वने ऑफर भेजे गए थे। उसी के जरिए उन्हें ठगा गया। सलमान ताज पाटिल डीसीपी क्राइम ने बताया मास्टरमाइंड को पकड़ने के लिए टीमें काम कर रही है। उसकी कुछ जगहों पर लोकेशन मिली है। जहां पर टीम देखकर आई है मगर वहां कुछ मिला नहीं है। उसके पकड़े जाने के बाद यह घोटाला और बड़ा निकलने की पूरी सम्भावनाएं हैं।

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तीन बार वेबसाइट क्रैश

वेबसाइट की मिली आईडी की जांच करने पर क्राइम ब्रांच को पता चला कि 20 दिसम्बर 2021, 25 मार्च 2022 और 5 मई 2022 में आरोपितों ने वेबसाइट को क्रैश कराया था। इस दौरान इन तीनों वेबसाइट्स पर 40 करोड़ का निवेश हो चुका था।

लगाए 5 हजार कमाए 8-10 हजार

आरोपितों ने जो व्हाट्स एप और इंस्टाग्राम में ग्राहकों को मैसेज भेजे उसमें उन्होंने पांच हजार से निवेश कर 8-10 हजार रुपए कमाने का लुभावना ऑफर दिया था। गिरोह इतना शातिर है कि व्हाट्स एप और इंस्टाग्राम मैसेज पर भी डिस्क्लेमर लिखकर भेजता था कि जितने रिटर्न है वह मार्केट रिस्क पर आधारित होंगे। जो भी निवेश कर रहे हैं वह इस रिस्क को अच्छे से समझ ले।

क्या हुआ था

क्राइम ब्रांच ने बीती 19 जुलाई को चार आरोपित विक्रम सिंह, विकास सिंह, नितिन सोनी और राहुल नागर को गिरफ्तार किया था। इन्हें लेदर कारोबारी फैज उर रहमान द्वारा कोतवाली थाने में दर्ज कराई गई एफआईआर में गिरफ्तार किया गया। इन्होंने कारोबारी से 11 लाख का निवेश कराने के साथ ही वेबसाइट क्रैश करा ली थी। क्राइम ब्रांच के मुताबिक इस गिरोह का मास्टरमाइंड कोई और है।

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