
Symbolic Image of Swine Flu In Kanpur
कानपुर जिले में जीएसवीएम मेडिकल कॉलेज में एमबीबीएस की छात्रा में स्वाइन फ्लू की पुष्टि होने से वहाँ पढ़ने वाले अन्य स्टूडेंट में इसकी आशंका बढ़ गई है। सीएमओ की ओर से सभी को चौकन्ना रहने को कहा गया है। साथ ही कैंपस में छिडकाव के साथ साथ जांच के आदेश भी जारी कर दिए गए हैं। लखनऊ के केजीएमयू में देर रात आई रिपोर्ट में मेडिकल छात्रा की रिपोर्ट में इसकी पुष्टि होते ही पूरी टीम इसको लेकर सतर्क हो गई है। वायरल से पीड़ित होने पर उसे मेडिकल कॉलेज में भर्ती किया गया था, तो मेडिकल कॉलेज के एक्सपर्ट का कहना था कि, छात्रा में एक्यूट नाइक्रोटाइजिंग इंसेफ्लाइटिस के लक्षण मिले थे, जिससे छात्रा के मस्तिष्क में संक्रमण हो गया था। वहीं छात्रा में स्वाइन फ्लू के लक्षणों की जानकारी के बाद से बुधवार देर रात कई मेडिकल छात्र हॉस्टल छोड़कर घर चले गए हैं। जबकि बाकियों में इसको लेकर चिंता तेजी से बढ़ रही है।
Dr Sanjay Kala with Expert on Swine Flu
कानपुर जिले के जीएसवीएम मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य डॉ. संजय काला, उप प्राचार्य प्रो. रिचा गिरि समेत अन्य एक्सपर्ट इस मामले को देख रहे हैं। मीडिया से बातचीत करते हुए उन्होंने बताया कि, छात्रा के मस्तिष्क के संक्रमण को दूर करने के लिए इंटर वेनस इम्यूनो ग्लोबिन इंजेक्शन की पहली डोज जब दी गई, तो उस मेडिकल स्टूडेंट के मस्तिष्क में कुछ हलचल हुई थी। इंजेक्शन की एक 10 ग्राम की डोज का मूल्य 14600 रुपये है, जबकि छात्रा को कुल 12 डोज देनी होंगी।
मेडिकल कालेज हॉस्टल के आसपास गंदगी और सूअर की भरमार
कानपुर जीएसवीएम मेडिकल कॉलेज के जिस हॉस्टल में ये लड़की रहती थी वहाँ पर नगर निगम व मेडिकल कॉलेज के स्वास्थ्य विभाग की टीम ने निरीक्षण के दौरान पाया कि, क्षेत्र में काफी गंदगी है, जबकि वहाँ कई ***** गंभीर अवस्था में पाए गए हैं। जिसके बाद से यही माना जा रहा है कि, इन सुअरों से ही छात्रा में स्वाइन फ्लू तेजी से फैल गया है। स्वाइन फ्लू के संक्रमण संबंधी फैलाव को रोकने के लिए मेडिकल कॉलेज कैंपस में दवा का छिड़काव व फॉगिंग कराई गई है, जबकि उसके आसपास भी काफी क्षेत्रों में इसकी जांच और छिडकाव करने के लिए कई टीमों को लगाया गया है।
Published on:
29 Sept 2022 10:23 am
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