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जहां पकड़ा था नकल का रैकेट, वहां सिर्फ 3 बच्चे पास

- 7 मार्च को सामूहिक नकल कराते हुए पकड़े गए थे आठ शिक्षक

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खरगोन@हेमंत जाट

बोर्ड परीक्षा में अच्छे रिजल्ट आने के बाद सफल विद्यार्थियों के चेहरों पर खुशी छाई है। वहीं खरगोन जिले में पिछले सालों की अपेक्षा रिजल्ट कमजोर आने से निराशा का माहौल है। हालांकि इसके लिए स्कूल के शिक्षक ही जिम्मेदार हैं। यहां कई सरकारी स्कूलों में रिजल्ट खराब आया है। इसमें शासकीय हाईस्कूल सिरवेल भी है। इसी स्कूल में सामूहिक नकल कराते हुए रैकेट का भंडाफोड़ हुआ था। इसमें आठ शिक्षक और महाराष्ट्र के कुछ लोगों की मिलीभगत सामने आई थी। परीक्षा के बीच में ही केंद्राध्यक्ष सहित परीक्षा प्रभारी को कलेक्टर के आदेश पर बदला गया था। वहीं अब जब परिणाम आया, तो वह चैका देने वाला है। सिरवेल स्कूल में 102 बच्चों ने परीक्षा दी थी। इमसें से तीन विद्यार्थी ही पास हुए। वह भी द्वितीय श्रेणी में। 7 को पूरक मिली और वहीं 94 फेल हुए हैं।

रात में पहुंचे अधिकारी, सुबह रंगेहाथ पकड़ा
सांसद आदर्श ग्राम सिरवेल की सरकारी स्कूल में परीक्षा के दौरान सामूहिक नकल की गोपनीय शिकायत कलेक्टर शिवराज सिंह वर्मा को मिली थी। उन्होंने एसडीएम के मार्गदर्शन में टीम गठित कर कार्रवाई के लिए भेजा। टीम परीक्षा के एक दिन पहले यानी 6 मार्च को सिरवेल पहुंच गई थी। यहां सुबह 7 मार्च को पेपर था। जहां स्कूल के बाहर एक बंद कमरे में आठ सरकारी शिक्षक, अतिथि शिक्षक मिलकर गाइड आदि से नकल सामग्री तैयार कर स्कूल तक पहुंचा रहे थे। टीम ने नौ लोगों को रंगेहाथ पकड़ा था। जिसके बाद नियमित शिक्षकों को निलंबित कर दिया। वहीं अतिथि शिक्षक की सेवाएं समाप्त कर दी गई थी। बता दें कि गुरुवार को घोषित परिणाम में खरगोन जिले में 10 वीं का रिजल्ट 62.8 और 12 वीं का महज 44.96 प्रतिशत आया है।

शिक्षा विभाग की साख को बट्टा
जिस स्कूल में सामूहिक नकल कराई जा रही हो, वहां का रिजल्ट खराब होने से इस बात को भी बल मिलता है कि सरकारी स्कूलों में शिक्षक अपने कर्तव्य के प्रति कितने लापरवाह हंै।

इससे शिक्षा विभाग की साख को भी बट्टा लगा है। खुद डीईओ हेमेंद्र वडनेेकर से जब इस संबंध में चर्चा तो उन्होंने कॉल उठाकर बात करना भी जरुरी नहीं समझा।

समीक्षा कर कार्रवाई करेंगे
बोर्ड परीक्षा में जिन स्कूलों का रिजल्ट खराब रहा है। उसकी समीक्षा की जाएगी। स्कूलों में पढ़ाई की नैतिक जिम्मेदारी शिक्षक की है। यदि वह ही पढ़ाई की जगह नकल कराएंगे, तो फिर क्या होगा। खराब परफॉर्मेस वाली स्कूल व शिक्षकों पर कार्रवाई की जाएगी।
- शिवराजसिंह वर्मा, जिला शिक्षा अधिकारी खरगोन