
कोटा.
चिटफंड कंपनी की आड़ में लोगों को फांसने वाला शख्स 4 साल बाद पुलिस की गिरफ्त में आ ही गया। जिसने अपनी गैंग के साथ मिलकर दर्जनों लोगों से करोड़ों रूपए हड़प लिए और फरार हो गया।
रामपुरा कोतवाली थाना क्षेत्र में चिटफंड कंपनी के नाम पर लोगों के रुपए दोगुना करने का झांसा देकर करीब 3 दर्जन लोगों से 3 करोड़ से अधिक की धोखाधड़ी करने के आरोपित को पुलिस ने गुरुवार को गिरफ्तार कर लिया। उसे अदालत में पेश कर पूछताछ व बरामदगी के लिए 4 दिन के पुलिस रिमांड पर लिया है।
Read More: Suicide: कोटा में त्यौहार की खुशी बदली मातम में, एक युवक ने लगाया फंदा और रेलवे कर्मचारी ने किया आत्मदाह, जानिए क्या रही वजह
थानाधिकारी छुट्टनलाल मीणा ने बताया कि घंटाघर निवासी भावेश शर्मा ने अपने 6 साथियों के साथ मिलकर चिटफंड कंपनी बनाई थी। इसका कार्यालय जीएमए प्लाजा के पास खोला था। वह लोगों से रुपए जमा करवाते और उन्हें दोगुना करने का झांसा देते, लेकिन 2014 में कंपनी बंद कर 37 लोगों से 3 करोड़ 9 लाख 50 हजार रुपए हड़प कर भाग गए। भावेश ने अपने साथियों के साथ मिलकर विज्ञान नगर निवासी सीता बाई के मकान के फर्जी दस्तावेज तैयार कर उसे जहीश अहमद के पास 10 लाख और शिवपुरा निवासी लाडकंवर के मकान के फर्जी दस्तावेज तैयार कर उसे प्रमोद पंचौली के पास 8.50 लाख रुपए में गिरवी रख उनसे भी रुपए हड़प लिए थे।
घर से किया गिरफ्तार
इस मामले में पूर्व में आरोपितों इरफान अंसारी, लोकेन्द्रसिंह, रफत खान, अलताफ, महेन्द्र कुशवाह व शहजाद अली को गिरफ्तार किया जा चुका है, जबकि घंटाघर निवासी भावेश शर्मा 2014 से ही फरार चल रहा था। उसके होली पर घर आने की सूचना पर पुलिस ने उसे घर से गिरफ्तार कर लिया।
Published on:
03 Mar 2018 09:01 pm
बड़ी खबरें
View Allकोटा
राजस्थान न्यूज़
ट्रेंडिंग
