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इंडिगो के झगड़े के बीच आई मोदी सरकार, SEBI को दिए जांच करने के आदेश

Indigo एयरलाइंस के 2 प्रोमोटर्स के बीच विवाद चल रहा है इस विवाद में Modi Govt ने सेबी को जांच करने के आदेश दिए हैं

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Shivani Sharma

Jul 12, 2019

indigo

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नई दिल्ली।इंडिगो ( indigo ) प्रमोटर्स के बीच चल रही लड़ाई में सरकार कोई कड़ा कदम उठा सकती है। मोदी सरकार ( Modi govt ) चाहती है कि सेबी ( SEBI ) इंडिगो एयरलाइन की कंपनी इंटरग्लोब एविएशन के सभी निदेशकों के बारे में जांच की जाए। जांच में जिसकी भी गलती हो उसके खिलाफ सख्त एक्शन लिया जाना चाहिए। यह पहली बार है जब इंडिगो के विवाद में सरकार के अधिकारियों की ओर से कोई संकेत दिए गए हैं।


इंडिगो देश की सबसे बड़ी निजी विमानन कंपनी

निजी क्षेत्र की इंडिगो इस समय देश की सबसे बड़ी विमानन सेवा कंपनी है। सरकारी अधिकारियों के अनुसार इंडिगो के संबंध में जो बाते सामने आ रही हैं उनमें कंपनी संचालन स्वस्थ व्यवस्था , निष्पक्ष व्यवसाय के नियमों और कारोबार के नियमों का उल्लंघन लग रहा है। अधिकारी चाहते हैं कि कंपनी के सभी निदेशकों और आपसी मतभेद में फंसे दोनों मुख्य प्रवर्तकों से जुड़ी सभी यूनिट्स की जांच की जानी चाहिए।


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राकेश गंगवाल तथा राहुल भाटिया के बीच चल रहै विवाद

आपको बता दें कि इंटरग्लोब एविएशन ( IGAL ) देश की सबसे बड़ी एयरलाइन इंडिगो की मूल कंपनी है। कंपनी के सह प्रवर्तकों राकेश गंगवाल तथा राहुल भाटिया ( Rahul Bhatia ) के बीच विवाद छिड़ा हुआ है। इस विवाद का असर कंपनी के शेयर मूल्य पर भी पड़ा है। कंपनी संचालन के मुद्दे पर इंटरग्लोब एविएशन में प्रवर्तकों के बीच विवाद गहराने के एक दिन बाद राहुल भाटिया समूह ने बुधवार को कहा था कि सभी संबद्ध पक्षों के साथ लेनदेन उनसे उचित दूरी रखते हुये बाजार मूल्य के मुताबिक ही किए गए।


पीएम मोदी को लिखा था पत्र

इस मामले की शिकायत करते हुए गंगवाल ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण, नागर विमानन मंत्री हरदीप सिंह पुरी और वाणिज्य मंत्री पीयूष गोयल समेत अन्य कई लोगों को लेटर का प्रिंट भेजा था। गंगवाल के निदेशक मंडल को असाधारण आम बैठक बुलाने के बारे में लिखे जाने के बाद भाटिया ने 12 जून को प्रस्ताव का विरोध किया था।


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19 जुलाई तक देना है जवाब

आपको बता दें कि इंडिगो में 37 फीसदी हिस्सेदारी राकेश गंगवाल की है और 38 फीसदी हिस्सेदारी राहुल भाटिया की है। भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड ( सेबी ) ने कंपनी से गंगवाल के आरोपों के बारे में 19 जुलाई तक जवाब देने को कहा है। गंगवाल ने सेबी से पत्र लिखकर कहा है कि इस मुद्दे को सुलझाने के लिए वह हस्तक्षेप करे।

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