
ChatGPT Privacy Settings in Hindi (Image: Gemini)
ChatGPT Privacy Settings in Hindi: हम और आप… हम सब आजकल किसी दोस्त से सलाह लें या न लें, लेकिन ChatGPT से जरूर पूछ लेते हैं। ऑफिस का ईमेल लिखवाना हो या घर के लिए रेसिपी ढूंढनी हो, यह AI चैटबॉट हमारी जिंदगी का हिस्सा बन गया है। लेकिन जरा रुकिए… कभी सोचा है कि जिस बेबाकी से आप इस चैटबॉट से अपने दिल और दिमाग की बातें शेयर कर रहे हैं, वो जा कहां रही हैं?
सच तो यह है कि यह मशीनी दोस्त बहुत शातिर है। यह आपकी बातें सुनता है, उन्हें याद रखता है और चुपचाप अपने सर्वर पर सेव भी कर लेता है। अब पीसी मैग (PCMag) की एक रिपोर्ट ने भी आगाह कर दिया है। लेकिन घबराने की जरूरत नहीं है। अगर आप थोड़ी सी समझदारी दिखाएं, तो अपनी प्राइवेसी पर ताला लगा सकते हैं।
आइए, बिल्कुल आसान भाषा में समझते हैं कि खुद को सुरक्षित कैसे रखें।
अगर आप अपनी पहचान नहीं बताएंगे, तो वो सेव क्या करेगा? पहले ChatGPT चलाने के लिए अकाउंट बनाना जरूरी था, लेकिन अब ऐसा नहीं है। अगर आपको बस कुछ मामूली सवाल पूछने हैं, तो लॉगिन मत कीजिए।
सीधे वेबसाइट पर जाइए और चैट शुरू कर दीजिए। जब आप गेस्ट बनकर बात करते हैं, तो कंपनी को आपकी पर्सनल जानकारी नहीं मिलती। काम भी हो जाएगा और आपकी पहचान भी गुप्त रहेगी।
हम सब आलस में क्या करते हैं? 'Sign up with Google' देखा और क्लिक कर दिया। बस यही चूक हो जाती है। जब आप अपने गूगल या एप्पल अकाउंट से इसे जोड़ते हैं, तो आप अनजाने में अपनी दूसरी जानकारियां भी लिंक कर देते हैं।
बेहतर यही होगा कि थोड़ा समय निकालें, एक अलग ईमेल आईडी का इस्तेमाल करें और पासवर्ड बनाकर लॉगिन करें। अपनी मुख्य डिजिटल चाबी किसी और के हाथ में क्यों देनी?
मान लीजिए आपको कोई बहुत निजी सवाल पूछना है या किसी बीमारी के बारे में सर्च करना है। आप नहीं चाहेंगे कि यह हिस्ट्री में दिखे। इसके लिए ChatGPT में एक कमाल का बटन टेंपरेरी चैट (Temporary Chat) है।
जैसे ही आप इसे ऑन करेंगे, स्क्रीन का इंटरफेस थोड़ा बदल जाएगा (अक्सर डार्क हो जाता है)। इसका मतलब है कि अब आप जो भी बात करेंगे, वो न तो हिस्ट्री में सेव होगी और न ही AI उसे याद रखेगा। बात खत्म, रिकॉर्ड खत्म।
आपको जानकर हैरानी होगी कि ChatGPT यह भी याद रखता है कि आप क्या काम करते हैं, आपके बच्चे कितने हैं या आपको खाने में क्या पसंद है। इसे मेमोरी फीचर कहते हैं। यह सुनने में अच्छा लगता है कि कोई आपको इतना जानता है, लेकिन निजता के लिए यह खतरनाक है।
सेटिंग्स में जाइए, वहां पर्सनलाइजेशन (Personalization) टैब मिलेगा। उसमें मेमोरी (Memory) का ऑप्शन दिखेग, उसे फौरन बंद (OFF) कर दें। बस, अब यह आपकी पिछली बातों को भूल जाएगा।
कई बार हम बातों-बातों में अपना निकनेम, फोन नंबर या शहर का नाम चैट में लिख देते हैं। ये सब सेव हो जाता है। सेटिंग्स के अंदर ही आपको एक ऑप्शन मिलता है जहां आप देख सकते हैं कि इसने आपके बारे में क्या-क्या डाटा जमा किया है।
वहां जाकर सब डिलीट कर दीजिए। अपनी प्रोफाइल को एकदम साफ रखिए। याद रखिए, इंटरनेट पर आपकी प्राइवेसी की जिम्मेदारी कोई कंपनी नहीं लेगी, यह आपको खुद ही उठानी होगी। सतर्क रहें, सुरक्षित रहें।
Published on:
31 Dec 2025 03:58 pm
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