
Ayurveda Secrets of eating curd in winter|फोटो सोर्स – Freepik
Curd in Winter: सर्दियां आते ही बहुत से घरों में एक चीज सबसे पहले खाने से गायब होती है, वो है दही। घर में अक्सर कहा जाता है कि दही मत खाना, सर्दी हो जाएगी, गला बैठ जाएगा और खांसी बढ़ जाएगी। लेकिन क्या वाकई दही इतना नुकसान करता है? या हम बस अधूरी जानकारी होने की वजह से उसे गलत मान लेते हैं? आइए आयुर्वेद की मदद से इस सवाल का सही जवाब जानते हैं।
आयुर्वेद दही को किसी एक मौसम तक सीमित नहीं मानता है। दही में कैल्शियम, प्रोटीन, अच्छे फैट्स और प्रोबायोटिक्स भरपूर मात्रा में होते हैं, जो पेट, इम्युनिटी और स्किन तीनों के लिए फायदेमंद हैं। इसलिए दही सालभर खाया जा सकता है, सर्दियों में भी। अगर सही तरीके से खाया जाए तो दही नुकसान नहीं, फायदा देता है।
आयुर्वेद के अनुसार दही भारी और ठंडी तासीर वाला होता है। यह वात दोष को शांत करता है, लेकिन कफ और पित्त को बढ़ा सकता है। यही वजह है कि गलत समय पर या ज्यादा मात्रा में दही खाने से सर्दी-खांसी या गले की प्रॉब्लम बढ़ सकती है।
रात के समय दही खाना सही नहीं माना जाता। सर्दी, खांसी, बुखार या खराब डाइजेशन में भी दही नुकसान कर सकता है। बासी या ज्यादा खट्टा दही शरीर में बलगम की समस्या पैदा कर सकता है।
दही को लाइट वे में, छाछ या पतली लस्सी की तरह लें। इसमें जीरा, अदरक या काली मिर्च मिलाने से डाइजेशन आसान हो जाता है। हमेशा ताजा दही खाएं और खासकर दोपहर के खाने में खाएं।
डिसक्लेमरः इस लेख में दी गई जानकारी का उद्देश्य केवल रोगों और स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं के प्रति जागरूकता लाना है। यह किसी क्वालीफाइड मेडिकल ऑपिनियन का विकल्प नहीं है। इसलिए पाठकों को सलाह दी जाती है कि वह कोई भी दवा, उपचार या नुस्खे को अपनी मर्जी से ना आजमाएं बल्कि इस बारे में उस चिकित्सा पैथी से संबंधित एक्सपर्ट या डॉक्टर की सलाह जरूर ले लें।
Updated on:
08 Dec 2025 01:12 pm
Published on:
08 Dec 2025 12:47 pm
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