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अब यूपी के मरीजों का इलाज करेगी अमेरिकी कम्पनी, छह महीने में शुरू हो जाएगी सेवाएं

अमेरिकन कम्पनी ने दावा किया है कि वह उत्तर प्रदेश के लोगों को छह महीने में स्वास्थ्य सेवाएं मुहैया कराने का काम शुरू कर देगी।

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लखनऊ

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Laxmi Narayan

Nov 06, 2017

medtronic

लखनऊ. अमेरिकन कम्पनी ने दावा किया है कि वह उत्तर प्रदेश के लोगों को छह महीने में स्वास्थ्य सेवाएं मुहैया कराने का काम शुरू कर देगी। अमेरिकन कंपनी मेडिट्रॉनिक के प्रतिनिधियों ने सोमवार को लखनऊ के बलरामपुर अस्पताल का दौरा करने के बाद यह बात कही। कम्पनी की चौदह सदस्यीय टीम ने बलरामपुर अस्पताल में डाक्टरों से मुलाकात की और नए बन रहे वार्ड का निरीक्षण कर अस्पताल की कार्यप्रणाली को देखा। अस्पताल का दौरान करने से पहले टीम ने प्रदेश के स्वास्थ्य विभाग के अफसरों से मुलाकात की।

कम्पनी के प्रतिनिधियों ने बलरामपुर अस्पताल का लिया जायजा

बलरामपुर अस्पताल पहुंचे मेडिट्रॉनिक कम्पनी के प्रबंधक डाक्टर अंशुमान ने बताया कि कम्पनी के इण्डिया हेड मदन कृष्णा, एशिया पैसिफिक के हेड डेविड आर सहित अन्य सदस्यों ने अस्पताल की सुविधाओं का जायजा लिया। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश में लगातार विकास का माहौल बन रहा है। यहां हमारी टीम उपलब्ध सेवाओं का जायजा ले रही है और बात को जानने की कोशिश हो रही है कि उपलब्ध सेवाओं को किस तरह से बेहतर बनाया जा सके। गरीब मरीजों को किस तरह बेहतर इलाज दिया जा सकता है, डाक्टरों को क्या दिक्क़तें हो रही हैं, अस्पतालों को क्या दिक्कतें हो रही हैं और इन समस्याओं का सरकार के साथ मिलकर किस तरह हल निकाला जा सकता है, इस बात पर चर्चा हुई। अंशुमान ने उम्मीद जताई कि उत्तर प्रदेश में मेडिट्रॉनिक अगले छह महीने में अपनी सेवाओं की शुरुआत कर देगी।

गरीबों का इलाज करना रहेगी प्राथमिकता

बलरामपुर अस्पताल के निदेशक डाक्टर राजीव लोचन ने बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के कार्यकाल में भारत ने अपनी वैश्विक उपस्थिति दर्ज कराई है। इसी का नतीजा है कि विदेशी कंपनियां अब भारत की ओर आकर्षित हो रही हैं। हमारे यहां बहुत सारे ऐसे गरीब मरीज हैं जिन्हें उचित इलाज नहीं मिल पाता। अमेरिकी कम्पनी ऐसे लोगों की मदद करना चाहती है। कार्डियोलॉजी, नेफ्रोलॉजी सहित कई क्षेत्रों में अमेरिकी कम्पनी की मदद से गरीबों की बेहतर मदद की जा सकती है। बहुत सारी कंपनियां अपनी कारपोरेट सोशल रेस्पोंसिबिलिटी के तहत गरीबों की मदद करना चाहती हैं। अमेरिकी कम्पनी की मदद से सेवाओं को बेहतर करने में हमें भी मदद मिलेगी।