
उत्तराखंड में कर चोरी पर 800 से अधिक कारोबारियों के पंजीकरा सस्पेंड हुए हैं
Action On Tax Evasion:कर चोरी करने पर आठ सौ से अधिक कारोबारियों पर उत्तराखंड में बड़ी कार्रवाई हुई है। सीएम पुष्कर सिंह धामी के सख्त तेवर दिखाते ही राज्यकर विभाग हरकत में आ गया। पहले ही दिन विभाग ने करीब आठ सौ से अधिक बकायेदार कारोबारियों के पंजीकरण सस्पेंड कर दिए हैं। पहले दिन 1.20 करोड़ की देनदारी की वसूली की गई। उत्तराखंड कर विभाग के अनुसार, लंबे समय से रिटर्न दाखिल नहीं करने वाले कुल 515 व्यापारियों को चिन्हित करते हुए 55 व्यापारियों के रजिस्ट्रेशन भी सस्पेंड किए गए हैं। बाकी मामलों में कार्यवाही जारी है। वित्त सचिव दिलीप जावलकर ने इसकी पुष्टि की है। गौरतलब है कि विभागीय स्तर से 4058 बकायेदारों को चिन्हित किया गया है। इन पर 160 करोड़ से अधिक का बकाया है। शनिवार सुबह मुख्यमंत्री ने कैम्प ऑफिस में वित्त विभाग की समीक्षा की। मुख्यमंत्री ने कर चोरी पर रोक लगाने के लिए अभियान चलाने को कहा।उन्होंने आगामी 10 साल की वित्तीय स्थिति की पूरी योजना तैयार करने के निर्देश दिए थे। इस दीर्घकालिक योजना में आर्थिक-सामाजिक विकास, पर्यावरण संरक्षण, आधुनिक तकनीक का उपयोग कर योजनाओं के प्रभावी क्रियान्वयन पर फोकस किया जाएगा।
अधिकारियों के मुताबिक राज्य स्थापना के बाद से ट्रेड टैक्स, वैट, जीएसटी कलेक्शन में 48 गुना से अधिक की वृद्धि हुई है। कलेक्शन 233 करोड़ से बढ़कर 11289 करोड़ हुआ है। कर स्रोतों में जीएसटी और वैट की भागीदारी 62, एक्साइज की 19 प्रतिशत, ट्रांसपोर्ट की पांच प्रतिशत, स्टाम्प की आठ प्रतिशत और खनन की पांच प्रतिशत भागीदारी है। उत्तराखंड में आईटीसी फ्रॉड के 848 मामलों और 165 फेक फर्मों को चिन्हित किया गया। फेक जीएसटी रजिस्ट्रेशन के खिलाफ अभियान में 51 जीएसटी रजिस्ट्रेशन गैर मौजूद पाए जाने पर पंजीकरण निरस्त किया गया। राज्य कर आयुक्त अहमद इकबाल ने बताया कि अभियान जारी रहेगा।
Published on:
23 Mar 2025 06:00 pm
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