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कोरोना काल में गांव-गांव ‘जीवनदायिनी’ बनी योगी सरकार की ‘नेशनल मोबाइल मेडिकल यूनिट’

- योगी सरकार के ‘सचल अस्पताल’ ने यूपी में अब तक 45 लाख से अधिक लोगों को घर बैठे दिलाई निशुल्क इलाज और जांच की सुविधा.

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लखनऊ

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Abhishek Gupta

May 21, 2021

National Mobile Medical Unit

National Mobile Medical Unit

लखनऊ. कोरोनाकाल में लोगों को घर-घर सुविधा पहुंचाने में नेशनल मोबाईल मेडिकल यूनिट (एनएमएमयू) काफी मददगार साबित हो रही है। यह 2019 में योगी सरकार द्वारा शुरू की गई थी। इसके जरिए अ तक प्रदेश के 45 लाख से अधिक लोगों को निःशुल्क इलाज दिया जा चुका है। कोविड काल में 15 लाख से अधिक लोगों की सैंपलिंग और स्क्रीनिंग करने में भी यूनिट ने अपनी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। 53 जिलों में कार्य कर रहीं 170 एनएमएमयू के वाहन तैनात हैं। ये अत्याधुनिक जांच के उपकरणों से लैस हैं। इसमें एक वरीष्ठ चिकित्सक के साथ एक फार्मासिस्ट, एक लैब टेक्नीशियन और एक स्टॉफ नर्स हर समय मौजूद रहती हैं। यह वाहन गांव में एक निश्चित स्थान पर पहुंचता है। बीमार लोगों को इलाज और विभिन्न रोगों की जांच की सुविधा उन्हीं के गांव में देता है।

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योगी सरकार में नेशनल मोबाईल मेडिकल यूनिट (एनएमएमयू) ने ग्रामीणों के बीच अपनी अलग पहचान बनाने में सफलता पाई है। कोरोना काल में पिछले तीन महीनों में यूपी में कुल 692562 लोगों (फरवरी माह में 232710, मार्च में 240397, अप्रैल में 219455) लोगों को ओपीडी के माध्यम से इलाज दिया गया है। जबकि लखनऊ में कुल 8783 (फरवरी माह में 3056, मार्च में 2891 और अप्रैल में 2836) लोगों को घर बैठे इलाज की निशुल्क सेवा दी जा चुकी है। गौरतलब है कि 18 फरवरी 2019 में इस योजना का शुभारंभ इंदिरा गांधी प्रतिष्ठान से मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने किया था। एनएमएमयू ने फरवरी 2021 तक 3976649 से अधिक लोगों को प्राथमिक उपचार उपलब्ध कराया जबकि 427298 लोगों की चिकित्सकीय जांच इसके माध्यम से की गई।

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आधुनिक उपकरणों से लैस एमएमयू जन-जन तक पहुंचा रहा ओपीडी की सुविधा-
एक छोटा सचल अस्पताल जो आपके दरवाजे पहुंचता है। इस नेशनल मोबाइल मेडिकल यूनिट की वैन में कई उच्चस्तरीय व आधुनिक उपकरण मौजूद हैं जो इसे और भी खास बना देते हैं। इनमे नेब्यूलॉईजर, इलेक्ट्रिक नीडिलडिस्ट्रायर ,ईसीजी मशीन, एम्बू बैग, सेमी आटोमेटिक बायोकेमेस्ट्री एनेलाईज़र ,आटोस्कोप, टोनोमीटर, ग्लूकोमीटर, स्टेलाइज़र ,व्यू बॉक्स, ड्रेसिंग ड्रम , आपथेल्मोस्कोप , सेंट्रीफ्यूज मशीन ,लेरिंजोस्कोप, माइक्रो टाइपिंगसेंट्रीफ्यूज, हीमोग्लोबिन मीटर आदि प्रमुख हैं। कोरोना की एंटीजन जांच, कोरोना वायरस के लक्षणों की जांच के लिये इंफ्रारेड थर्मामीटर आदि भी इसमें रहता हे। इस वाहन के बाहरी हिस्से में एलईडी लगी है जिसपर गांव-गांव योगी सरकार की लाभकारी योजनाओं का प्रचार भी किया जाता है।

रोगियों का फॉलोअप लेने 15 दिन बाद वापस पहुंचती एनएमएमयू-
नेशनल मोबाइल मेडिकल यूनिट गांव में जिस स्थान पर लोगों को इलाज मुहैया कराती है उसी स्थान पर वापस 15 दिनों बाद लौटती है। जिन रोगियों को डॉक्टर की सलाह से मुफ्त दवाइयां दी गई होती हैं उनका हालचाल लेती है। फॉलोअप के माध्यम से लोगों को बीमारियों से छुटकारा दिलाने का काम किया जाता है। इस दौरान गंभीर रोगियों को बड़े अस्पतालों में इलाज के लिये रेफर करने का काम भी किया जाता है। कोरोना काल में इनके माध्यम से गांव में स्क्रीनिंग का कार्य किया गया, एंटीजन के माध्यम से कोरोना की जांच में भी यह सहायक बनी हैं।