
लखनऊ. उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव के बाद सभी पार्टियां अपने संगठनात्मक ठांचें में बदलाव कर रही हैं। हार के कारणों की समीक्षा की जा रही है। कांग्रेस ने प्रदेश अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू का इस्तीफा ले लिया गया है। रालोद सुप्रीमों जयंत चौधरी ने पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष इमरान मसूद का भी इस्तीफा भी मांग लिया है। बसपा ने भी रिजल्ट के तुरंत बाद पार्टी में बड़ा बदलाव कर दिया है। लेकिन 125 से भी कम सीटों पर सिमट जानें वाली समाजवादी पार्टी में कोई हलचल नहीं है। अखिलेश यादव ने अपने प्रदेश अध्यक्ष नरेश उत्तम पटेल से एक बार भी ये नहीं पूछा कि आखिर पार्टी की यह दुर्गति क्यों हुई।
सपा के कुछ वरिष्ठ सदस्य दबी जुबान से कहते हैं जब हार के लिए जम्मेदार अखिलेस हैं तो अध्यक्ष नरेश उत्तम की क्या बिसात। वह तो सिर्फ नाम के पार्टी अध्यक्ष हैं। इसलिए उनसे कोई बात भी नहीं हुई। जहां तमाम पार्टियों ने हार के बाद अपनी प्रतिक्रियाएं दीं वहीं नरेश उत्तम का एक भी बयान न आना आशचर्य चकित करता है।
बसपा ने किया फेरबदल
बसपा ने विधानसभा चुनाव 2022 के नतीजे आने के बाद बड़ा फेरबदल किया है। पार्टी के दो अहम पदों पर मायावती ने अपने भाई आनंद कुमार व भतीजे आकाश आनंद को जिम्मेदारी दी है। मायावती ने भाई आनंद को उपाध्यक्ष व भतीजे आकाश आनंद को नेशनल कॉर्डिनेटर की जिम्मेदारी दी है यह पद पार्टी के लिए काफी महत्वपूर्ण हैं और इन पदों को पोजीशन पार्टी में मायावती के बाद नंबर दो की है।
काग्रेस ने की कार्रवाई
विधानसभा चुनाव 2022 में कांग्रेस को करारी हार का सामना करना पड़ा है। कांग्रेस को चुनाव में सिर्फ दो सीटें मिली है। जनता ने कांग्रेस को फिर एक बार नकार दिया है। जबकि विधानसभा चुनाव 2022 में कांग्रेस महासचिव प्रियंक गाधी ने काफी मेहनत की और आधी आबादी को अपने साथ लाने के लिए कई प्रयास किए है। चुनाव में कामयाबी न मिलने के बाद कांग्रेस ने कार्रवाई करते हुए कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू का इस्तीफा ले लिया है।
Updated on:
20 Mar 2022 12:20 pm
Published on:
20 Mar 2022 12:16 pm
