
Regulatory Commission Plan to Increase Electricity Tariff Plan
उत्तर प्रदेश में बिजली दर बढ़ाने की तैयारी (Increase in Electricity Tariff Plan) शुरू हो चुकी है। नियामक आयोग ने अगले 10 दिन के लिए सभी बिजली कंपनियों से स्लैब वार टैरिफ प्लान दाखिल करने को कहा है। इसके लिए आयोग की तरफ से निर्देश भी जारी कर दिए गए हैं। दरअसल, पिछले करीब दो सालों से बिजली दरें चुनाव और फिर लॉकडाउन के कारण नहीं बढ़ी हैं। पड़ोसी राज्य उत्तराखंड में एक दिन पहले ही बिजली दर बढ़ाने का फैसला किया गया है। अब इसके बाद उत्तर प्रदेश में भी बिजली दरें बढ़ सकती हैं। हालांकि, इस फैसले पर कोई औपराचिकता नहीं है। एक ओर नियामक आयोग ने टैरिफ प्रस्ताव मांगा है, तो दूसरी ओर उत्तर प्रदेश राज्य विद्युत उपभोक्ता परिषद के अध्यक्ष अवधेश वर्मा ने इसका विरोध शुरू किया है।
बिजली दरों को कम करने की अपील
अवधेश वर्मा ने कहा है कि प्रदेश में बिजली कंपनियों पर उपभोक्ताओं का पहले से ही 20500 करोड़ रुपया निकल रहा है। ऐसे में बिजली दरें बढ़ाना ठीक नहीं है। बिजली दरों को कम कर देना चाहिए।
पिछले वर्ष दिया गया प्रस्ताव हो गया था खारिज
बता दें कि बिजली दरें बढ़ाने का प्रस्ताव पिछले वर्ष भी दिया गया था लेकिन तब तक कोविड और आर्थिक मंदी की वजह से इसे खारिज कर दिया गया था। विद्युत नियामक आयोग (Electricity Regulatory Commission) ने बिना सब्सिडी के बिजली दर का प्रस्ताव दाखिल करने का आदेश दिया है।
Updated on:
03 Apr 2022 01:58 pm
Published on:
03 Apr 2022 10:44 am
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