उप्र के 75 जिलों में 829 केन्द्रों पर कड़ी सुरक्षा के बीच मतगणना का काम सुबह आठ बजे से शुरू हुआ। जिला पंचायत, क्षेत्र पंचायत, ग्राम प्रधान और ग्राम पंचायत सदस्यों के कुल 12,89,830 उम्मीदवारों के लिए मतगणना का काम देर रात तक चलता रहा। इनमें से सभी पदों पर 3,19,317 उम्मीदवार पहले ही निर्विरोध निर्वाचित हो चुके हैं। पहला रिजल्ट चंदौली जिले के चकिया ब्लॉक अंतर्गत इसहुल गांव का आया, जहां ओम प्रकाश सिंह को महज दो वोटों से जीत हासिल हुई। सैफई में ग्राम पंचायत प्रधान पद के उम्मीदवार रामफल वाल्मिकी विजयी रहे। यहां 50 साल बाद ग्रामप्रधान का प्रत्यक्ष चुनाव हुआ। इसी तरह कानपुर के बिकरू गांव में गैंगस्टर विकास दुबे के गांव में 25 साल बाद कोई दूसरा प्रधान बन सकात है। मैनपुरी के कुरावली ब्लाक की नगला ऊसर ग्राम सभा प्रत्याशी पिंकी देवी 115 वोटों से चुनाव जीत गईं, पर दुखद रहा कि इसके पहले ही उनका निधन हो गया। उधर कानपुर नगर के नर्वल ब्लॉक के सेन पश्चिम पारा गांव में किन्नर काजल किरण ग्राम प्रधान पद पर विजयी हुईं।
मुलायम का जलवा बरकरार आरक्षण के चलते 50 साल बाद सैफई गांव के प्रधान पद के उम्मीदवार के लिए मतदान तो हुआ लेकिन मुलायम परिवार की इस सीट पर उन्हीं के समर्थित प्रत्याशी रामफल बाल्मीकि को जीत हासिल हुई। अखिलेश यादव के चचेरे भाई सैफई द्वितीय से जिला पंचायत सदस्य प्रत्याशी अभिषेक यादव को अखिलेश के साथ-साथ शिवपाल यादव का भी समर्थन प्राप्त है। अयोध्या के बीकापुर ब्लाक अंतर्गत खेवली ग्राम पंचायत में प्रधान पद की प्रत्याशी नीलम सिंह ने 7 वोटों जीतीं। उधर बाहुबली माफिया और पूर्व सांसद धनंजय सिंह की पत्नी श्रीकला रेड्डी सिंह भी जौनपुर में जिला पंचायत के वार्ड नंबर 45 जीत गयीं। मिर्जापुर-कोन ब्लाक अंतर्गत मिश्रधाप गांव के दो प्रत्याशियों को बराबर-बराकर 161 वोट मिलने के बाद लॉटरी सिस्टम से शशि मिलन यादव की जीत हुई।
कोविड प्रोटोकॉल के पालन का दावा फेल मतगणना में कोविड प्रोटोकॉल के पालन का दावा फेल दिया। प्रत्याशी और समर्थक कोविड नियमों की धज्जियां उड़ाते दिखे। कहीं पुलिस ने लाठियां भांजीं तो कहीं मूक दर्शक बने रहे। मिर्जापुर के पॉलिटेक्निक कॉलेज स्थित मतगणना केन्द्र पर एजेंटों की भीड़ पुलिस वालों को धक्का देकर अंदर घुस गई। पुलिस वाले भी बिना ग्लव्ज के लोगों को चेक करते दिखे। नवीन मंडी मुजफ्फरनगर में इंट्री पर भी सोशल डिस्टेंसिंग की धज्जियां उड़ीं। पुलिस ने मतगणना एजेंटों पर लाठियां भाजीं।
कोरोना का कहर दिखा मतगणना के बीच कोरोना का कहर भी जारी है। सोनभद्र के चोपन ब्लॉक अंतर्गत पनारी ग्राम पंचायत से प्रधान प्रत्याशी फुलेश्वरी देवी (35) की कोरोना से मौत हो गई। काउंटिंग के बीच अब तक 38 लोग संक्रमित पाए गए। कानपुर के घाटमपुर मतगणना स्थल पर एंटीजन टेस्ट में 14, रामपुर में 9, हमीरपुर में दो एजेंट, बलरामपुर में 8 ड्यूटी कर्मचारी, हाथरस के मुरसान में 4 ड्यूटी कर्मचारी व इटावा में अंबेडकर इंजीनियरिंग कॉलेज मतदान केंद्र एक मतगणना कर्मी कोरोना पॉजीटिव पाया गया।
दिग्गजाें की प्रतिष्ठा दांव पर पंचायत चुनाव में भाजपा, सपा, कांग्रेस, आम आदमी पार्टी और ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन जैसी सियासी पार्टियों ने समर्थित प्रत्याशी उतारे हैं। कई दिग्गजों की प्रतिष्ठा भी दांव पर लगी है। नेता प्रतिपक्ष रामगोविंद चौधरी के पुत्र रंजीत चौधरी, पूर्व मंत्री अंबिका चौधरी के पुत्र आनंद चौधरी, पूर्व विधायक जय प्रकाश अंचल के पुत्र विनय अंचल जिला पंचायत सदस्य पद के लिए चुनावी समर में हैं। इसके पूर्व सांसद रामसागर रावत भी बाराबंकी से ताल ठोंक रहे हैं। पीएम नरेंद्र मोदी के संसदीय क्षेत्र वाराणसी, अखिलेश यादव के संसदीय क्षेत्र आजमगढ़, सीएम योगी के गृह जनपद गोरखपुर, मेनका गांधी के संसदीय क्षेत्र सुलतानपुर, कुंडा विधायक राजाभैया के गढ़ कहे जाने वाले प्रतापगढ़ के चुनाव परिणाम पर लोगों की नजर टिकी हुई हैं। इसके अलावा आगरा, गाजियाबाद, फतेहपुर, मिर्जापुर, उन्नाव और इटावा सहित कई जिलों के चुनाव परिणाम मतदाताओं के मन की बात बताएंगे।
निर्वाचन आयोग की गाइडलाइन राज्य निर्वाचन आयुक्त मनोज कुमार ने चेतावनी दी है कि जीत का जुलूस निकालन वालों पर एफआईआर होगा। मतगणना कक्ष या परिसर में इंट्री के पहले थर्मल स्कैनिंग अनिवार्य और मास्क लगाना जरूरी किया गया। इसके अलावा प्रत्याशियों व एजेंटों को मतगणना केंद्र में प्रवेश और काउंटिंग शुरू होने से 48 घंटे पहले आरटीपीसीआर या रैपिड एंटीजन जांच की निगेटिव रिपोर्ट दिखाना दिखाना अनिवार्य बनाया गया है।
यूपी पंचायत चुनाव – चार चरणों में मतगणना- 15, 19, 26 और 29 अप्रैल को
– ग्राम पंचायत प्रधान- 58,194
– ग्राम पंचायत सदस्य- 7,31,813
– क्षेत्र पंचायत सदस्य- 75,808
– जिला पंचायत सदस्य- 3,051 पद