
महासमुंद. गर्मी में बिजली की आंख मिचौली और लो-वोल्टेज की समस्या झेल रहे विद्युत उपभोक्ताओं को अब भारी बिजली बिल का झटका लग रहा है। ग्रामीण अंचल में जहां अभी-अभी स्पॉट बिलिंग शुरू हुई है, वहां एक साथ दो-दो महीने की मीटर रीडिंग की जा रही है। इससे बिल में बिजली की खपत दोगुनी दिख रही है और खपत यूनिट बढऩे के कारण टैरिफ दर भी ज्यादा लग रहा है। इससे उपभोक्ताओं का बिजली बिल सामान्य से दोगुना-तिगुना आ रहा है।
जानकारी के अनुसार तुमगांव विद्युत वितरण क्षेत्र में इन महीने स्पॉट बिलिंग की जा रही है। मीटर रीडिंग कर उपभोक्ताओं को मशीन के माध्यम से तत्काल प्रिंटेड बिल दिया जा रहा है। इससे पहले मीटर रीडिंग पुराने तरीके से की जा रही थी और उसके आधार पर उपभोक्ताओं को हर महीने बिजली बिल भेजा जाता था।
मीटर रीडिंग के बाद बिल आने में करीब एक महीने लग जाता था। मसलन फरवरी महीने में खपत हुई बिजली का बिल मार्च में आता। अब स्पॉट बिलिंग की जा रही है, तो इसमें फरवरी में हुई रीडिंग के बाद से अब तक यानी अप्रैल तक की रीडिंग की जा रही है। इस प्रकार मीटर दो महीने में जितना चला है, उतनी यूनिट बिल में दर्ज हो रही है। दो महीने की रीडिंग एक साथ होने से खपत यूनिट दोगुना दर्ज हो रही है।
खपत यूनिट बढऩे के कारण अधिक रेट वाला स्लेब लागू हो रहा है। मसलन जिसके घर में २०० यूनिट तक बिजली खपत होती है, उसके लिए नियत प्रभार २.६० रुपए और उर्जा प्रभार १.३० रुपए का दर स्लेब लागू होता था। अब उसका बिल में ४०० यूनिट खपत दिख रहा है, जिससे नियत प्रभार ३.४० रुपए और उर्जा प्रभार २.०० रुपए की दर से जोड़ी जा रही है।
खपत यूनिट बढऩे के साथ-साथ टैरिफ की दर बढ़ती जाती है। दो महीने की रीडिंग एक साथ किए जाने से हाई टैरिफ दर लागू हो रही है और बिजली बिल सामान्य से तीन गुना आ रहा है।
मीटर रीडिंग में गड़बड़ी रोकने के लिए विद्युत विभाग अब फोटो बिलिंग भी शुरू करने जा रहा है। इसके लिए विभाग ने एक सिस्टम तैयार किया है। मीटर रीडर को मीटर रीडिंग करते समय उसमें दिख रही यूनिट संख्या का फोटो खींचकर इस सिस्टम में डालना होगा। इससे बिल पटाते समय क्रास चेक किया जाएगा कि वास्तव में जितनी बिजली खपत हुई है, उतने का बिल दिया गया है।
ग्राम बिरकोनी के विद्युत उपभोक्ता दौलत चंद्राकर, शंकर चंद्राकर, भूषण निषाद, जगदीश सेन, हीरू निषाद, रामजी साहू, टकेश्वर सेन, गिरधारी पटेल, मनोज साहू आदि का कहना है कि वे हर महीने बिजली बिल पटाते आ रहे हैं।
जब विभाग दो महीने की रीडिंंग एक साथ कर रहा है तो दो महीने का अलग-अलग बिल दे, या इसे दो महीने का बिल माने। एक महीने में खपत यूनिट के आधार टैरिफ दर लगाई जाए। दो महीने में खपत यूनिट की एक साथ गणना कर अधिक दर वाले स्लैब के आधार पर भारी भरकम बिल थमाना उपभोक्ताओं के साथ अन्याय है।
विधुत विभाग के ईई, एके गोपावार ने बताया मीटर रीडिंग में गड़बड़ी रोकने के लिए अब फोटो बिलिंग का सिस्टम लागू किया जा रहा है। स्पाट बिलिंग में गड़बड़ी की शिकायतों को भी देखेंगे।
Published on:
29 Apr 2018 11:54 am
बड़ी खबरें
View Allमहासमुंद
छत्तीसगढ़
ट्रेंडिंग
