
मंडला। कोरोना काल में दो साल तक शैक्षणिक गतिविधियां ठप्प रहने और आर्थिक संकट के चलते जिले में 9 निजी स्कूल बंद हो गए हैं। इन स्कूलों के बंद होने से आरटीई के तहत निशुल्क शिक्षा प्राप्त कर रहे विद्यार्थियों को सीधे तौर पर नुकसान उठाना पड़ सकता है। वहीं अन्य बच्चों को भी दूसरे स्कूल की तलाश करनी पड़ेगी। परिजन असमंजस में कि इन्हें दूर के प्राइवेट स्कूल में पढ़ाएं या फिर सरकारी स्कूल का सहारा लेना पड़ेगा।
जिले में बंद स्कूलों में करीब 500 विद्यार्थी अध्ययनरत थे। जिसमें 44 बच्चों को आरटीई के तहत प्रवेश मिला था। जिनकी फीस की प्रतिपूर्ति सरकार कर रही थी। वहीं स्कूलों के बंद होने से बच्चों को प्रवेश के लिए फिर से आवेदन करना होगा। डीपीसी कार्यालय से ऐसे स्कूलों को चिन्हित कर वहां अध्ययनरत बच्चों की जानकारी इकत्रित की है। जिसकी रिपोर्ट शासन को भेजी है। प्रभावित बच्चों की पढ़ाई आगे कैसी होगी, इसे लेकर अभी कोई गाडलाइन नहीं आई है। ऐसी स्थिति में पालकों में भी भ्रम बना हुआ है। अब जिले में 187 प्राइवेट स्कूलों में आरटीई के तहत 25 प्रतिशत सीटों में प्रवेश मिलेगा।
ऑनलाइन करना पड़ेगा आवेदन
विभागीय कर्मचारियों ने बताया कि स्कूल बंद होने पर विद्यार्थियों को शाला बदलने के लिए मौका मिलेगा। लेकिन उसके लिए आरटीई में प्रवेश के लिए एक बार फिर ऑनलाइन पंजीयन कराना होगा। जिसकी शुरुआत 15 जून से हो चुकी है। 30 जून तक पंजीयन होंगे। इसी अवधि में 20 से एक जुलाई के बीच दस्तावेजों का सत्यापन किया जा रहा है। जिसके बाद शासन स्तर से लॉटरी के माध्यम से चयनित विद्यार्थियों की लिस्ट जारी होगी।
ये स्कूल बंद हुए
जिले के नौ स्कूल बंद हुए हैं जिनमें ज्यादातर वित्तीय स्थिति कमजोर होने के कारण है। जिसमें नेता जी मेमोरियल स्कूल बिंझिंया को 31 मार्च 2021 तक मान्यता थी इसके बाद नवीनीकरण नहीं कराया गया। विभाग को यहां आरटीई के तहत अध्ययरत बच्चों की जानकारी व कारण स्कूल संचालक से संपर्क ना होने के कारण नहीं हो सका है। जय ज्योति स्कूल कौरगांव, नील लक्ष्य मॉर्डन स्कूल, आर्दश इंग्लिश मीडियम स्कूल और स्मार्ट पब्लिक स्कूल में आरटीई के तहत प्रवेश वाले बच्चे नहीं हैं, स्कूल की वित्तीय स्थिति कमजोर होने के कारण स्कूल बंद कर दिया गया है। जेएमआर पब्लिकेशन इंग्लिश मीडियम स्कूल में 15 बच्चे व हैप्पी किड्स स्कूल में एक बच्चा, विवेकानंद पब्लिक स्कूल लफरा में 7 बच्चे आरटीई के तहत अध्यनरत थे। कोविड के दौरान आर्थिक स्थिति ठीक ना होने से दोनों स्कूल बंद हो गए हैं। इसी तरह सरस्वती ज्ञान मंदिर स्कूल घुघरी में 21 बच्चे आरटीई के तहत अध्ययन कर रहे थे। शाला भवन की अनुपलब्धता के कारण वर्ष 2020 में स्कूल बंद कर दिया गया।
Published on:
21 Jun 2022 06:05 pm
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