
वेस्ट यूपी में भीम आर्मी के कारण मायावती की बढ़ी चिंता, अपने कार्यकर्ताआें को किया आगाह
मेरठ। पूर्व मुख्यमंत्री मायावती पश्चिम उत्तर प्रदेश में अपनी जड़ें मजबूत कर रही भीम आर्मी से घबराई हुई हैं। दलितों के भीम आर्मी से जुड़ने और भीम आर्मी के सदस्यों द्वारा दलित हितों में आंदोलन करने से बसपा का कैंडर वोट उससे फिसलने का खतरा मायावती को दिखाई दे रहा है। इसलिए उन्होंने भीम आर्मी को अभी से भाजपा और आरएसएस की उपज करार दिया है। बीजेपी व आरएसएस एंड कम्पनी ने खासकर उत्तर प्रदेश में दलितों की एकता व एकजुटता को प्रभावित करने के लिये घिनौनी साजिश करके पर्दे के पीछे से भीम आर्मी का गठन करवाया और फिर अपने राजनीतिक स्वार्थ की पूर्ति के लिये इसकी आड़ में सहारनपुर के शब्बीरपुर गांव में बीएसपी के सर्वोच्च नेतृत्व यानी मेरी हत्या करवाने की घिनौनी साजिश रची गयी। वहां के दलितों पर अनेकों प्रकार की जुल्म-ज्यादती की गई। जबकि असली अभियुक्तों को बीजेपी सरकार अभी तक भी सरकारी संरक्षण देती रही है। बसपा सुप्रीमो मायावती ने जारी बयान में ये बातें कही हैं।
दलितों को बांटने की कोशिश कर रही भीम आर्मी
मायावती ने कहा है कि भीम आर्मी के माध्यम से दलितों को बांटने की कोशिश की जा रही है। उन्होंने भाजपा और आरएसएस संगठन पर आरोप लगाया कि दलितों को बांटने की कोशिश के लिए ही इस संगठन को बढ़ावा दिया जा रहा है। भीम आर्मी के माध्यम से ऐसे काम करवाए जा रहे हैं जिससे अधिक से अधिक दलित उससे जुड़े और बाद में उनको वोट बैंक के रूप में प्रयोग किया जा सके। उन्होंने कहा कि गठबंधन की मजबूती से भाजपा घबराई हुई है। मोदी एंड कंपनी को 2019 में गठबंधन की मजबूती का पता चल जाएगा। जिसका नमूना पिछले उपचुनाव में भाजपा देख चुकी है। उन्होंने कहा कि भीम आर्मी को पश्चिम उप्र में भाजपा और आरएसएस एक साजिश के तहत हवा देकर उसकी जड़ें मजबूत करने का काम कर रहे हैं। उन्होंने दलितों को आगाह करते हुए कहा कि वे भीम आर्मी से दूर रहें।
Published on:
01 Aug 2018 12:21 pm
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