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हिट एंड रन मामले में मेरठ देश में चौथे नंबर पर, एक साल में हुई 152 मौतें

आरटीओ मेरठ हिमेश कुमार तिवारी ने बताया कि इसमें वे मामले शामिल किए जाते हैं, जिसमें जिम्मेदार वाहन की पहचान न हो सके।

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मेरठ

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Nitish Pandey

Sep 24, 2021

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मेरठ. आगरा और मेरठ की सड़कों पर चल रहे हैं तो अपनी जान को बचाने को जिम्मेदारी आपकी है। न कि किसी वाहन चालक की जो कि सड़क पर चल रहे हैं। ये हम नहीं एनसीआरबी की 2020 की रिपोर्ट बता रही है। राष्ट्रीय अपराध रिकार्ड ब्यूरो से प्राप्त हुई रिपोर्ट की बात करें तो इसके आंकड़े काफी चौकाने और चेताने वाले हैं। पश्चिमी उत्तर प्रदेश के दो जनपद आगरा और मेरठ प्रदेश ही नहीं बल्कि देश में भी हिट एंड रन केस मामले में टॉप 5 में शुमार हैं। आगरा तो इस सूची में पहले नंबर पर है। जबकि मेरठ चौथे नंबर पर है।

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34 महानगरों में चौथे नंबर पर मेरठ

राष्ट्रीय अपराध रिकार्ड ब्यूरो की 2020 की रिपोर्ट के अनुसार हिट एंड रन के मामलों में 34 महानगरों में मेरठ चौथे स्थान पर है। यह दर प्रति लाख आबादी पर एकत्र की जाती है। सूची में देश के प्रमुख शहरों चंडीगढ, भोपाल, तिरुअनंतपुरम, कोटा, लुधियाना को शामिल किया गया है। यह रिपोर्ट परिवहन मंत्रालय से मिले डेटा से संकलित की है।

वर्ष 2020 में मेरठ में सड़क हादसों में 152 मौतें हुईं। ये सभी हिट एंड रन के मामले थे। वहीं, आगरा में सर्वाधिक 462 मामले हिट एंड रन के आए हैं और यह इस रिपोर्ट में पहली स्थान पर है। हिट एंड रन के मामलों का आकलन करने पर मेरठ की दर 10.7 है। आगरा में यह दर 26.5 है। 34 शहरों की औसत दर केवल 3.8 है। सड़क हादसों में हुई मौतों की संख्या के मामलों में आगरा के बाद दूसरे नंबर पर आसनसोल है। हिट एंड रन का यहां पर कोई मामला नहीं है।

नहीं हो सकती आरोपित की पहचान

हिट एंड रन का अर्थ है कि आरोपित वाहन चालक टक्कर मारकर रुकने और पीड़ि की मदद करने के बजाय भाग जाए। आरटीओ मेरठ हिमेश कुमार तिवारी ने बताया कि इसमें वे मामले शामिल किए जाते हैं, जिसमें जिम्मेदार वाहन की पहचान न हो सके। उन्होंने बताया कि हादसों की रोकथाम के लिए 25 से 30 सितंबर तक सड़क सुरक्षा अभियान चलेगा। इसमें अलग-अलग दिन जागरूकता कार्यक्रम किए जाएंगे।

सबसे ज्यादा हादसे हाईवे पर

एसपी ट्रैफिक जितेंद्र कुमार श्रीवास्तव की माने तो इन सड़क हादसों में सर्वाधिक हाइवे पर हुए हैं। इनमें भी अधिकांश मौतें दिल्ली-देहरादून हाइवे पर हुई हैं। परतापुर से लेकर पल्लवपुरम के बीच ही अधिकांश मामले सामने आए हैं। इसके पीछे मुख्य कारण गलत ढंग से बने हुए कट हैं। दुर्घटना करके भाग जाना मानवीय दृष्टिकोण में कमी को दर्शाता है। इसी को लेकर सड़क सुरक्षा अभियान चलाया जाता है।

इन शहरों में हिट एंड रन के सर्वाधिक मामले

शहर मृतकों की संख्या दर

आगरा 462 26.5

वाराणसी 173 12.1

ग्वालियर 126 11.4

मेरठ 152 10.7

BY: KP Tripathi

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