
नई दिल्ली।
देशभर में कोरोना संक्रमित ( Coronavirus ) मरीजों का आंकड़ा लगातार बढ़ता जा रहा है। अब तक कुल मरीजों की संख्या 2,36,657 ( Covid-19 Cases ) हो चुकी है। जबकि, 6,642 लोगों की मौत हो गई है। पिछले 2 महीनों से भी ज्यादा समय तक लॉकडाउन ( Lockdown ) के चलते लोगों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ा। इसी बीच महाराष्ट्र ( Maharashtra ) के अहमदनगर के ग्रामीणों ने अनूठी पहल करते हुए 105 गांवों में हर साल लॉकडाउन ( Lockdown in Village ) रखने का निर्णय लिया है। ग्रामीणों ने तय किया है कि वे हर साल 8 दिन का लॉकडाउन रखेंगे। जिसमें सभी दुकानें और अन्य कामकाज पूरी तरह बंद रहेगा।
लॉकडाउन से बहुत कुछ सिखाया
अहमदनगर ( Ahmednagar ) पंचायत समिति ने ग्रामीणों की सर्वसम्मति से 105 गांवों में हर साल मई में 8 दिन का लॉकडाउन रखने का प्रस्ताव पारित किया है। सभापति रामदास भोर ने कहा कि इस लॉकडाउन से भले ही लोगों को परेशानी हुई है, लेकिन बहुत कुछ सिखाया भी है। कोरोना काल में लोग घरों में रहें, तो प्रकृति का रंग रूप बदल गया। संकट की घड़ी में सभी दुकानें आदि बंद थीं, लेकिन किसान अपना काम लगातार करते रहे। लॉकडाउन ने बहुत कुछ सीख दी है, इसी के चलते अहमदनगर की पंचायत समिति ने ये फैसला लिया है।
धरती को आराम की जरूरत
ग्रामीणों का कहना है कि धरती को भी थोड़ा आराम मिलना चाहिए। इसलिए सभी ने एक मत से हर साल लॉकडाउन रखने का फैसला लिया है। हर साल मई में 8 दिन सभी दुकानें बंद रहेंगी। किसान भी अपना कामकाज बंद रखेंगे और सभी लोग लॉकडाउन का पूरा पालन करेंगे।
खेती बाड़ी से जुड़े लोग
गांधीजी के नारे 'गांव की ओर चलो' से प्रेरित होकर लोग शहर छोड़कर गांव आ गए हैं और खेत बाड़ी में जुट गए है। कोरोना संकट ने सिखाया है कि गांवों में ही जिंदगी का सुकून मिल सकता है। लॉकडाउन के इन आठ दिनों में गांव के विकास और नई योजनाओं पर चर्चा होगी।
Updated on:
06 Jun 2020 11:02 am
Published on:
06 Jun 2020 11:00 am
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