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नेशनल हेराल्‍ड केस: दिल्‍ली हाईकोर्ट सिंगल बेंच के आदेश को AJL ने डबल बेंच में चुनौती दी

Published: Jan 06, 2019 02:24:07 pm

एजेएल ने अपनी याचिका में का था कि हेराल्‍ड हाउस को खाली करने का आदेश नेहरू की विरासत को बदनाम करने की कोशिश के तहत दिया गया था।

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नेशनल हेराल्‍ड केस: दिल्‍ली हाईकोर्ट सिंगल बेंच के आदेश को AJL ने डबल बेंच में चुनौती दी

नई दिल्‍ली। नेशरल हेराल्‍ड केस मामले में एसोसिएटेड जर्नल्‍स लिमिटेड (एजेएल) ने दिल्‍ली हाईकोर्ट सिंगल बेंच के आदेश को डबल बेंच में चुनौती दी है। इस मामले में 22 दिसंबर, 2018 को सिंगल बेंच ने दो सप्‍ताह के अंदर नेशनल हेराल्‍ड हाउस को खाली करने का निर्देश दिया था। एजेएल पर आरोप था कि पिछले 10 साल से इमारत में नेशनल हेराल्ड अखबार के प्रकाशन का काम नहीं हो रहा था। एजेएल ने अपनी याचिका में का था कि हेराल्‍ड हाउस को खाली करने का आदेश नेहरू की विरासत को बदनाम करने की कोशिश के तहत दिया गया था।
बदनाम करने की साजिश
आपको बता दें कि दिल्‍ली स्थित नेशनल हेराल्ड हाउस को खाली कराने से जुड़ी याचिका पर सुनवाई करते हुए दिल्ली हाईकोर्ट ने अपना फैसला सुनाया था। जस्टिस सुनील गौर की पीठ ने अपने फैसले में दो सप्ताह का समय देते हुए नेशनल हेराल्ड हाउस को खाली करने के लिए कहा है। दिल्‍ली हाईकोर्ट सिंगल बेंच ने अपने 17 पेज के आदेश में तल्ख टिप्पणी की। हाई कोर्ट ने कहा था कि यंग इंडिया ने एजेएल को हाईजैक कर लिया था। एजेएल ने अपनी याचिका में कहा था कि इमारत खाली करने का सरकार का आदेश विवादास्पद उदेश्य, बदनीयत और पूर्वाग्रह से ग्रस्त था। इससे जवाहरलाल नेहरू की विरासत को बदनाम करने की कोशिश की गई है। इस पर न्यायमूर्ति सुनील गौर ने कहा कि यह कोई समझ नहीं पा रहा है कि कैसे पंडित नेहरू की विरासत को नष्ट या बदनाम किया गया है? बदनीयत का आरोप अपमानजनक है और इन आरोपों पर प्रतिक्रिया देनी की कोई जरूरत नहीं है।

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