
नई दिल्ली। देश में कोरोना वायरस की दूसरी लहर ( Second wave of coronavirus ) से मच रही तबाही का दौर जारी है। हालांकि इस बीच दिल्ली और यूपी सहित कई राज्यों से राहत की खबर आई है, लेकिन ब्लैक फंगस ( Black fungus ) ने केंद्र और राज्यों की टेंशन बढ़ा दी है। महाराष्ट्र, दिल्ली, गुजरात और मध्य प्रदेश के बाद अब ब्लैक फंगस ने बिहार में दस्तक दी है। राजधानी पटना में ब्लैक फंगस के चार मामले सामने आए हैं। इनमें से चार पटना एम्स और एक इंदिरा गांधी आयुर्विज्ञान संस्थान में भर्ती है।
म्यूकर माइकोसिस यानी ब्लैक फंगस लाइलाज नहीं
डॉक्टर संजीव ने जानकारी देते हुए बताया कि म्यूकर माइकोसिस यानी ब्लैक फंगस लाइलाज नहीं है, लेकिन लापरवाही में हुई देरी के चलते मरीज की जान जा सकती है। पटना में मिले पांच मरीजों में से एक की हालत काफी नाजुक बताई जा रही है, जिसको आईसीयू में डॉक्टरों की विशेष निगरानी में रखा गया है। वहीं, बिहारशरीफ में ब्लैक फंगस से मरीज की मौत का मामला सामने आया है। यह राज्य में ब्लैक फंगस के कारण हुई पहली मौत बताई जा रही है। जानकारी के अनुसार कोरोना वायरस से ठीक होने के बाद 65 वर्षीय एक बुजुर्ग ने ब्लैक फंगस की वजह से दम तोड़ दिया। मृतक की पहचान बिजेंद्र पासवान निवासी सिहूली के रूप में हुई है।
आंख में जलन होने की शिकायत
मृतक के भांजे अमृतेश ने बताया कि बिजेंद्र पांच मई को कोरोना संक्रमित हुए थे। लेकिन 16 मई को उनकी जांच रिपोर्ट निगेटिव आ गई थी। जिसके बाद वह लगभग पूरी तरह से स्वस्थ हो गए थे। लेकिन 19 मई को उनको आंख में जलन होने की शिकायत हुई, जिसके बाद उनकी जांच कराई गई। 24 मई को उनको ब्लैक फंगस होने की पुष्टि हुई और बिजेंद्र को पटना एम्स में भर्ती कराया गया। यहां हालत बिगडऩे के साथ ही डॉक्टरों ने उनको दवाई देकर घर भेज दिया। घर पर उपचार के दौरान दो दिन बाद उनकी मौत हो गई।
Updated on:
29 May 2021 09:46 pm
Published on:
29 May 2021 07:56 pm
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