Indian Railways की बड़ी कामयाबी, देश का सबसे शक्तिशाली इंजन पटरी पर दौड़ा
- हाई पावरफुल लोकोमोटिव ( Locomotive ) का बनाने वाले एलीट क्लब में दुनिया का छठा देश।
- मेक इन इंडिया ( Make In India ) के तहत इसके निर्माण की परियोजना वर्ष 2018 में शुरू हुई।
- 12000 हॉर्स पावर वाले इलेक्ट्रिक इंजन ( Electric Locomotive ) ने खींचे मालगाड़ी के 118 डिब्बे।

पटना। भारतीय रेलवे ( Indian Railways ) ने एक बड़ी उपलब्धि हासिल की है। काफी लंबे इंतजार के बाद बिहार ( Bihar ) के मधेपुरा स्थित इलेक्ट्रिकल लोकोमोटिव प्राइवेट लिमिटेड में बनाए गए भारत के सबसे शक्तिशाली 12000HP इलेक्ट्रिक लोकोमोटिव ( Locomotive यानी ट्रेन का इंजन ) का सोमवार को सफलतापूर्वक ट्रायल रन किया गया। Make in India अभियान के तहत बने इस इंजन को पूर्व मध्य रेलवे (ECR) के तहत पं. दीन दयाल उपाध्याय जंक्शन से सोमवार को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया गया।
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इस शक्तिशाली इंजन के साथ भारत हाई पावरफुल लोकोमोटिव ( High Powerful Locomotive ) का उत्पादन करने वाले देशों के एलीट क्लब में शामिल होने वाला दुनिया का छठा देश बन गया है।
ECR द्वारा जारी रेलवे के आधिकारिक बयान के मुताबिक इस इंजन का नाम 60027 नंबर के साथ WAG12 रखा गया है। इस इंजन ने पश्चिम बंगाल में पं. दीनदयाल उपाध्याय से बर्धवान जंक्शन तक 118 वैगनों के साथ एक मालगाड़ी को खींचा।
A PROUD MOMENT
— Make in India (@makeinindia) May 19, 2020
.@RailMinIndia, under the leadership of Hon'ble PM @narendramodi has operationalised India's first made-in-india 12000HP locomotive engine, making India the 6th country in the world achieve this feat. #NewIndia@PiyushGoyal
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ECR के मुख्य प्रवक्ता राजेश कुमार ने कहा, "यह दुनिया में पहली बार है कि ब्रॉड गेज रेलवे पटरियों पर एक हाई हॉर्स पावर लोकोमोटिव का संचालन किया गया है। इसका निर्माण मधेपुरा लोकोमोटिव फैक्ट्री में किया गया है, जो कि 120 इंजनों के प्रति वर्ष उत्पादन की क्षमता के साथ बिहार में 250 एकड़ भूमि में फैली हुई है।"
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मधेपुरा लोकोमोटिव फैक्ट्री को भविष्य में एक गेम-चेंजर बनाने के लिए और माल गाड़ियों के सुचारू रूप से चलाने के लिए दुनिया की नवीनतम तकनीक के साथ निर्मित किया गया है। मिनट टू मिनट लोकेशन पाने के लिए इंजन को हाई फ्रीक्वेंसी जीपीएस से लैस किया गया है।
कारखाने की मुख्य तकनीकी विशेषताओं के बारे में बताते हुए कुमार ने कहा कि मधेपुरा लोकोमोटिव फैक्ट्री में अगले 11 वर्षों में 12000 HP पावर के 800 इलेक्ट्रिक इंजनों के निर्माण की क्षमता है। कारखाने के कामकाज के साथ लगभग 10,000 प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष रोजगार पैदा होंगे।
●भारतीय रेल का 12000 एचपी का अपना सबसे शक्तिशाली ‘मेड इन इंडिया’ इंजन●
— East Central Railway (@ECRlyHJP) May 20, 2020
●सर्वप्रथम पूर्व मध्य रेल में परिचालन की शुरुआत●
●18 मई 2020 को पं. दीन दयाल उपाध्याय जंक्शन से बरवाडीह तक चली मालगाड़ी●
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मधेपुरा में स्थानीय लोगों को तकनीकी प्रशिक्षण प्रदान करने के लिए कॉर्पोरेट सोशल रिस्पांसिबिलिटी पहल के तहत एक कौशल केंद्र भी बनाया जा रहा है।
सबसे शक्तिशाली इंजन के निर्माण की परियोजना वर्ष 2018 में शुरू की गई थी और पहला प्रोटोटाइप लोकोमोटिव मार्च 2018 में सामने लाया गया था। यह भारतीय रेल के लिए पहली रेलगाड़ी है जिसे प्रधानमंत्री के मेक इन इंडिया प्रोग्राम के तहत निर्मित किया गया है।
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