
rainfall in jabalpur,Current weather and temperature in Jabalpur
नई दिल्ली। देश में मानसून आने की आहट के साथ ही नदियों के आसपास के क्षेत्रों तथा समुद्र किनारे बसे लोगों पर बाढ़ का खतरा मंडराने लगा है। यहां हाल ही में आए यास तूफान के चलते पहले ही काफी नुकसान हो चुका है तथा तटीय क्षेत्रों में सुरक्षा के लिए रखे गए पत्थर भी अपने स्थान से खिसक चुके हैं जिन्हें अभी तक वापिस यथास्थान स्थापित नहीं किया गया है।
केन्द्रापाड़ा जिले के तटीय क्षेत्रों पर बसे गांवों के निवासियों ने इस संबंध में बताया कि चक्रवाती तूफान के चलते आई बाढ़ के दौरान पहले ही बहुत से गांवों में काफी ज्यादा नुकसान हो चुका है। ऐसे में यदि मानसून तट से आकर टकराता है तो उसके कारण आने वाली बारिश तथा बाढ़ का सामना करने में अक्षम ग्रामीणों के सामने बहुत बड़ी जोखिम की स्थिति खड़ी हो जाएगी।
अधिकारियों के अनुसार चक्रवाती तूफान के कारण हुई तोड़फोड़ तथा तटीय सुरक्षा में लगी सेंध को सही किया जा रहा है परन्तु ग्रामीणों के अनुसार कार्य बहुत ही धीमी गति से चल रहा है जबकि मानसून महाराष्ट्र में पहुंच चुका है और 15 जून तक उड़ीसा, झारखंड, पश्चिम बंगाल के कुछ हिस्सों तथा बिहार तक पहुंचने की उम्मीद जताई जा रही है।
वरिष्ठ कांग्रेस नेता तथा पूर्व मंत्री गंगेश्वर बेहरा ने आरोप लगाया कि सिंचाई विभाग काम में देर कर रहा है जिसका नतीजा ग्रामीणों तथा किसानों को भुगतना पड़ सकता है। नदी के किनारे बसे गांवों पर पूरी तरह से बाढ़ में बहने का खतरा मंडरा रहा है। अधिकारियों ने कहा कि इस संबंध में आवश्यक बैठकें की जा रही हैं और काम में तेज गति लाई जा रही है ताकि समय पर कार्य को पूरा कर मानसून से होने वाले संभावित नुकसान को कम से कम किया जा सके।
देश के मौसम विभाग ने भी अपनी नवीनतम भविष्यवाणी में देश के नॉर्थईस्ट क्षेत्रों में अगले पांच दिनों तक तेज बारिश होने की संभावना व्यक्त की है। मौसम विभाग के अनुसार अरुणाचल प्रदेश, आसाम और मेघालय में दस जून के बाद बारिश आने की संभावनाएं बन रही हैं। विभाग के अनुसार अगले दो दिनों में मानसून देश के अधिकतम भागों में पहुंच चुका होगा और इसी के साथ देश में वर्षा का दौर शुरू हो जाएगा।
Published on:
06 Jun 2021 04:24 pm
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