
India Strongly Deplores Personal Attacks On French President Emmanuel Macron
नई दिल्ली। दुनियाभर के मुस्लिम देशों में इस वक्त फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों ( French President Emmanuel Macron) का व्यापक विरोध किया जा रहा है और उनके द्वारा दिए गए बयान की आलोचना की जा रही है।
यही नहीं, मैक्रों के बयान को लेकर तमाम मुस्लिम देशों में फ्रांसीसी उत्पादों के बहिष्कार ( Boycott France Products ) की भी मुहिम तेज हो गई है। इन सबके बीच इमैनुएल मैक्रों को भारत का साथ मिला है। भारत ने दो टूक कहा है कि मैक्रों पर व्यक्तिगत हमला स्वीकार्य नहीं है।
भारत ने इमैनुएल मैक्रों पर किए जा रहे व्यक्तिगत हमलों ( Personal Attack ) को अस्वीकार्य बताते हुए अपना समर्थन जताया है। भारत ने स्पष्ट शब्दों में कहा है कि मैक्रों के लिए दुनियाभर से की जा रही भाषा स्वीकार्य नहीं है।
भारत के समर्थन पर फ्रांस ने धन्यवाद कहा है। फ्रांस में भारत के राजदूत इमैनुएल लेनेन ने कहा समर्थन के लिए आभार। भारत और फ्रांस आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में हमेशा एक-दूसरे पर भरोसा कर सकते हैं।
आतंकवादी हमलों के लिए कोई स्पष्टीकरण नहीं: भारत
बता दें कि भारत ने प्रेस नोट जारी करते हुए फ्रांस में इतिहास के शिक्षक की हुई हत्या ( French Teacher Brutal Murder ) की भी निंदा की। भारत ने कहा कि इस घटना ने पूरी दुनिया को हैरत में डाल दिया है। हम पीड़ित परिवार और फ्रांस के लोगों के साथ अपनी संवेदना प्रकट करते हैं।
भारत ने स्टेटमेंट में आगे स्पष्ट किया है कि दुनियाभर में कहीं पर भी हुए आतंकवादी घटना के लिए किसी प्रकार का कोई स्पष्टीकरण नहीं दिया जा सकता है। मालूम हो कि फ्रांस के राष्ट्रपति मैक्रों ने पेरिस में इतिहास के एक शिक्षक की गला काटकर बेरहमी से हत्या किए जाने को लेकर कट्टरपंथी इस्लाम की आलोचना की थी।
उन्होंने इस हमले को इस्लामिक आतंकी हमला करार दिया था। साथ ही यह भी कहा था कि जो लोग फ्रांस को डराकर रखना चाहते हैं अब वे लोग डर के साए में रहेंगे। इसके आगे उन्होंने यह भी कहा था कि इस्लाम एक ऐसा धर्म है, जिससे सिर्फ फ्रांस ही नहीं, बल्कि आज पूरी दुनिया संकट में है। उन्होंने आगे यह भी कहा था कि उन्हें डर है कि फ्रांस की करीब 60 लाख मुसलमानों की आबादी समाज की मुख्यधारा से अलग-थलग पड़ सकती है।
कई मुस्लिम देशों में मैक्रों का व्यापक विरोध
आपको बता दें कि मैक्रों के बयान को लेकर दुनिया के कई मुस्लिम देशों में व्यापक विरोध किया जा रहा है। बांग्लादेश की राजधानी ढाका में करीब 10 हजार से ज्यादा लोगों ने रैली निकाली, तो वहीं पाकिस्तान में भी लोगों ने सड़कों पर उतरकर विरोध जताया है।
इसके अलावा, कई अरब देशों ने मैक्रों के बयान को इस्लाम के खिलाफ बताते हुए फ्रांसीसी उत्पादो के बहिष्कार की मुहिम शुरू कर दी है। कुवैत, जॉर्डन और कतर की कुछ दुकानों से फ्रांस के सामानों को हटा लिया गया है। वहीं लीबिया, सीरिया और गाजा पट्टी में भी फ्रांस के खिलाफ जोरदार प्रदर्शन किया जा रहा है।
दुनियाभर में व्यापक प्रदर्शन के बीच फ्रांस के विदेश मंत्रालय ने कहा है कि 'बहिष्कार की बेबुनियाद' बातें अल्पसंख्यक समुदाय का सिर्फ एक कट्टर तबका ही कर रहा है।
Updated on:
29 Oct 2020 06:54 am
Published on:
29 Oct 2020 12:34 am
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