6 दिसंबर 2025,

शनिवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

Maharashtra: मुख्यमंत्री शिंदे मुझे न्याय दें.. अकोला में वरिष्ठ पत्रकार ने लगाई फांसी, 3 सुसाइड नोट बरामद

Akola Journalist Suicide Case: अकोला शहर में रहने वाले मृतक पत्रकार प्रभाकर गंगाराव विरघट (Prabhakar Virghat) अपना प्रिंटिंग प्रेस चलाते थे। सुसाइड नोट में उन्होंने अपनी मौत के लिए आठ लोगों को जिम्मेदार बताया हैं। अकोट फाइल पुलिस मामले की जांच कर रही है।

2 min read
Google source verification

मुंबई

image

Dinesh Dubey

Aug 17, 2022

Truck driver killed in road accident in Thane

ठाणे में सड़क हादसे में ट्रक चालक की मौत

Akola Journalist Suicide Case: अकोला शहर में रहने वाले मृतक पत्रकार प्रभाकर गंगाराव विरघट (Prabhakar Virghat) अपना प्रिंटिंग प्रेस चलाते थे। सुसाइड नोट में उन्होंने अपनी मौत के लिए आठ लोगों को जिम्मेदार बताया हैं। अकोट फाइल पुलिस मामले की जांच कर रही है।

Maharashtra Akola Crime News: महाराष्ट्र के अकोला जिले (Akola Crime News) में प्रिंटिंग प्रेस चलाने वाले एक वरिष्ठ पत्रकार ने आत्महत्या (Journalist Suicide) की। पत्रकार ने जान देने से पहले कथित तौर पर तीन सुसाइड नोट लिखे है। आत्महत्या करने वाले पत्रकार ने मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे से न्याय दिलाने की गुहार। यह भी पढ़े-Maharashtra: 14 अगस्त को शिक्षक ने रखा ‘पाकिस्तान जिंदाबाद’ का स्टेटस, कोल्हापुर पुलिस ने किया डिटेन, स्कूल ने निकाला

मिली जानकारी के मुताबिक, अकोला शहर के अकोट फाइल इलाके में रहने वाले पत्रकार प्रभाकर गंगाराव विरघट (Prabhakar Virghat) अपना प्रिंटिंग प्रेस चलाते थे। वह पिछले कई दिनों से बीमार थे और अपने दो बच्चों के साथ रह रहे थे। लेकिन 10 अगस्त की रात जब बेटा प्रतुल अपने चाचा के यहां सोने चला गया तो प्रभाकर ने अपने आवास में फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली।

बेटे ने फंदे पर लटका देखा शव

जब अगले दिन यानि 11 अगस्त को उनके पास दूसरा बेटा आया तो उसने पिता को फंदे पर झूलते देखा। दरअसल उसने पिता को चाय-नाश्ते के लिए फोन किया, लेकिन जब उन्होंने फोन नहीं उठाया तो बेटा देखने के लिए मौके पर पहुंचा।


3 सुसाईड नोट बरामद

पत्रकार प्रभाकर गंगाराव ने सुसाइड नोट में अपनी मौत के लिए आठ लोगों को जिम्मेदार बताया हैं। अकोट फाइल पुलिस को पंचनामा करते समय पत्रकार प्रभाकर विरघट की जेब से तीन पत्र मिले। एक सुसाइड नोट में उन्होंने उल्लेख किया कि जिन लोगों ने प्रिंटिंग प्रेस को धोखा दिया और विश्वासघात से आर्थिक तंगी लाई, उन्हें दंडित किया जाना चाहिए।

दूसरे पत्र में आरोप है कि 1988 में रमेश, मोहन काजले, मदन जोशी, प्रभाकर जोशी, रमेश गायकवाड़, रमेश जैन, प्रेम कनौजिया, मोतीलालजी कनौजिया ने शिवशक्ती प्रिंटींग प्रेस में लेन-देन में धोखा किया और उन्हें आर्थिक संकट में डाल दिया। कथित तौर पर इसी वजह से पत्रकार ने आत्महत्या जैसा कदम उठाया।

मुख्यमंत्री से की विशेष जांच की मांग

वहीँ, तीसरे नोट में पत्रकार ने उनकी मौत के बाद मुख्यमंत्री शिंदे सरकार से न्याय दिलाने की गुहार लगाई है। उन्होंने आठ आरोपियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग करते हुए अपनी जीवन लीला समाप्त कर ली। मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे को संबोधित करते हुए उन्होंने मामले की जांच के लिए विशेष जांच अधिकारी की नियुक्ति की बात कही।

वरिष्ठ पत्रकार प्रभाकर विरघट द्वारा लिखे गए सुसाइड नोट के अनुसार पुलिस ने आठ लोगों के खिलाफ आत्महत्या के लिए उकसाने का मामला दर्ज किया है। फिलहाल पुलिस आगे की जांच कर रही है। पत्रकार की खुदकुशी से पूरे परिवार पर दुखों का पहाड़ टूट पड़ा है।