सीतारमण ने कहा कि बहुराज्यीय बैंक का सभी तरह का नियंत्रण आरबीआई के पास होता है। आरबीआई इस मामले में जरूरी कार्रवाई में जुटा है। लोगों को मामले में शीघ्र राहत मिले और वह ज्यादा से ज्यादा रकम निकाल सके, इसके लिए आरबीआई गर्वनर और अधिकारियों के साथी मीटिंग की जाएगी। इससे पहले सीतारमण के कार्यालय में पहुंचने से पहले पीएमसी बैंक खाताधारकों की बड़ी संख्या में मौजूदगी से तनाव की स्थिति बन गई थी। नवी मुंबई और राज्यभर से सैकड़ों की संख्या में पीएमसी के खाताधारक केंद्रीय वित्त मंत्री से मिलने पहुचे थे। पुलिस ने भी मामले की गंभीरता को देखते हुए सुरक्षा व्यवस्था बढ़ा दी थी। बड़ी संख्या में पुलिस की मौजूदगी से पूरा इलाका छावनी में तब्दील हो गया था।
यह है मामला
नियमों की अनदेखी के मामले में भारतीय रिजर्व बैंक की ओर से पंजाब एंड महाराष्ट्र कोऑपरेटिव (पीएमसी) बैंक के खिलाफ सख्त कार्रवाई की गई है। रिजर्व बैंक निर्देशानुसार अगले छह महीने तक पीएमसी बैंक न तो आम लोगों से जमा राशि स्वीकार कर सकता है और न कर्ज ही बांट सकता है। सावधि जमा स्वीकारने अथवा निवेश की मनाही भी की गई है। इस अवधि के दौरान बैंक के ग्राहक अपने खाते से 1000 रुपए से ज्यादा नहीं निकाल सकते थे, जिसे बाद में बढ़ाकर 15 हजार रुपए किया गया था। बैंक की कुछ शाखाओं पर ग्राहकों ने हंगामा भी किया था। पीएमसी बैंक पर लगाई गई पाबंदी की खबर 24 सितम्बर को मुंबई, ठाणे, पालघर आदि क्षेत्रों में तेजी से फैली।
छह राज्यों में 137 शाखाएं
पीएमसी बैंक की शाखाएं देश के छह राज्यों में फैली हैं। महाराष्ट्र सहित छह राज्यों में इसकी 137 शाखाएं हैं। इनमें से तीन दर्ज से ज्यादा शाखाएं अकेले मुंबई में हैं। ठाणे, नवी, मुंबई, मीरा-भायंदर आदि इलाकों में पीएमसी बैंक की कई शाखाएं हैं। बैंक की सभी शाखाओं पर ग्राहकों की भीड़ रही। ग्राहक बैंक में जमा अपने पैसे की सुरक्षा को लेकर चिंतित हैं।
रिजर्व बैंक ने बताया कि नियमों का पालन नहीं करने के लिए यह कार्रवाई की गई है। केंद्रीय बैंक ने यह भी स्पष्ट किया है कि पीएमसी बैंक का बैंकिंग लाइसेंस कैंसल नहीं किया गया है, जो पाबंदियों के साथ अगले नोटिस या आदेश तक कारोबार कर सकता है।