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एक चोर का खमियाजा भुगत रहा नागौर, ऑटोमेटिक वेदर स्टेशन पिछले पांच महीने से बंद

ऑटोमेटिक वेदर स्टेशन से सोलर बैटरी व सेंसर चोरी होने के बाद मौसम विभाग ने नहीं लगवाई दूसरी मशीन, जिला प्रशासन भी बना मूकदर्शक

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Nagaur's automatic weather station was out of order for five months

Nagaur's automatic weather station was out of order for five months

नागौर. नागौर जिले का एकमात्र ऑटोमेटिक वेदर स्टेशन पिछले पांच महीने से बंद है। वजह है स्टेशन में लगे सोलर बैटरी व सेंसर किसी चोर ने चुरा लिए। चोरी की घटना से मौसम विभाग के अधिकारी इतने रुष्ट हुए कि जब तक जिला प्रशासन सुरक्षा की गारंटी नहीं देगा, तब तक वेटर स्टेशन दुबारा चालू नहीं करेंगे। ऐसे में पिछले पांच महीने से न तो नागौर का सटीक तापमान पता चल रहा है और न ही हवा व आद्र्रता की जानकारी मिल रही है। इसके बावजूद जिला प्रशासन आंखें मूंदे हाथ पर हाथ धरे बैठा है। नागौर प्रदेश का पांचवा सबसे बड़ा जिला होने के बावजूद पिछले पांच महीने से ऑटोमेटिक वेदर स्टेशन बंद है और मौसम विभाग चूरू व जयपुर जिले के वेदर स्टेशनों से मिलने वाले डाटा के आधार पर नागौर के तापमान सहित मौसम का अनुमान लगा रहे हैं।

वेदर स्टेशन होने का फायदा
ऑटोमेटिक वेदर स्टेशन हर घंटे या प्रोग्रामिंग अनुसार अपने आसपास के मौसम जैसे हवा की रफ्तार, तापमान, बारिश, नमी आदि की सटीक जानकारी देता है। इससे प्राप्त होने वाले डाटा से मौसम विज्ञानी मौसम का अनुमान जारी करते हैं। इसके आधार पर ही प्लानिंग होती है।

नुकसान क्या
किसी जिले का वेदर स्टेशन खराब होने पर वैज्ञानिक उसके आसपास के जिलों के स्टेशनों से प्राप्त हो रहे डाटा से उस जिले के मौसम का अनुमान जारी करते हैं। वर्तमान में हर 5 किमी के मौसम में ही बदलाव दिखाई देने लगा है, ऐसे में सटीक अनुमान नहीं मिल पाता है।

कह नहीं सकते, समय लगेगा
नागौर के ऑटोमेटिक वेदर स्टेशन का सामान चोरी हो गया। अब बिना सुरक्षा के वापस चालू नहीं कर सकते। री-लोकेट करेंगे, इसलिए कह नहीं सकते कब लगेगा। दूसरे स्टेशनों से काम चल रहा है, बस और क्या चाहिए।
- राधेश्याम शर्मा, मुख्य वैज्ञानिक, मौसम विज्ञान केन्द्र, जयपुर

मुझे किसी ने नहीं बताया
ऑटोमेटिक वेदर स्टेशन, मौसम विभाग के अधीन है। इस सम्बन्ध में मुझसे किसी ने बात नहीं की।
- पीयूष समारिया, जिला कलक्टर, नागौर