
Mission Gaganyaan Tesla Ceo Elon Musk Congratulates ISRO on successful testing of Vikas Engine
नई दिल्ली। भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन ( ISRO ) ने अपने बहुप्रतिक्षित और बहु चर्चित अभियान गगनयान कार्यक्रम ( Gaganyaan ) के लिए 'विकास इंजन' का तीसरा लंबी अवधि का सफल उष्ण परीक्षण (Hot Testing) किया है। खास बात यह है कि इसरो के इस सफल परीक्षण को लेकर अमरीकी कंपनी स्पेस एक्स के सीईओ एलन मस्क ( Elon Musk ) काफी उत्साहित नजर आए।
एलन मस्क ने इसरो की इस कामयाबी पर उन्हें बधाई भी दी। एलन मस्क ने एक ट्वीट के जरिए भारत के तिरंगे को साझा किया और लिखा- 'शुभकामनाएं'। बता दें कि गगनयान अंतरिक्ष में भेजा जाने वाला देश का पहला मानवयुक्त मिशन है। यही वजह है कि इस अभियान पर भारत समेत दुनिया भर की नजरें टिकी हुई हैं।
भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) ने बुधवार को अपने गगनयान कार्यक्रम (Gaganyaan Mission) से जुड़ा बड़ा टेस्ट सफलतापूर्वक पूरा किया।
इसके बाद इसरो की ओर से बयान भी जारी किया गया। इस बयान में इसरो ने विकास इंजन के परीक्षण की जानकारी देते हुए कहा कि यह परीक्षण गगनयान कार्यक्रम के लिए इंजन योग्यता जरूरत के तहत जीएसएलवी एमके 3 यान के एल 110 तरल चरण के लिए किया गया।
गगनयान लॉन्चिंग में होगा इस इंजन का इस्तेमाल
बता दें कि इसरो ने जिस विकास इंजन का तीसरा लंबी अवधि का सफल उष्ण परीक्षण किया, गगनयान मिशन को लॉन्च करने के लिए इसी इंजन का इस्तेमाल किया जाएगा।
ISRO ने बुधवार को जब इसकी जानकारी देने के लिए ट्वीट किया तो उसपर एलन मस्क ( Elon Musk congratulates ISRO ) का कमेंट आया। अपने इस कमेंट में एलन मस्क ने तिरंगे को साझा करते हुए लिखा- 'बधाई भारत'।
भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) इस वक्त गगनयान मिशन की तैयारियों में जुटा है। गगनयान अंतरिक्ष भेजे जाने वाला देश का पहला मानवयुक्त मिशन है। इसे तरल प्रणोदक इंजन विकास (liquid propellant Vikas Engine) की मदद से लॉन्च किया जाएगा।
इसरो ने बताया कि यह टेस्ट महेंद्रगिरि, तमिलनाडु के परीक्षण केंद्र में हुआ था। इसरो के बयान के मुताबिक इस दौरान इंजन ने परीक्षण के उद्देश्यों को पूरा किया और परीक्षण की पूरी अवधि के दौरान इंजन मानक अनुमानों के अनुरूप थे।
मिशन गगनयान पर एक नजर
मिशन गगनयान इसरो का महत्वाकांक्षी कार्यक्रम है। इस कार्यक्रम का उद्देश्य किसी भारतीय प्रक्षेपण यान से इंसान को पृथ्वी की निचली कक्षा में भेजने और उन्हें वापस धरती पर लाने की क्षमता प्रदर्शित करना है।
केंद्रीय अंतरिक्ष मंत्री जितेंद्र सिंह ने इसी वर्ष फरवरी में कहा था कि पहला मानव रहित मिशन दिसंबर 2021 में और दूसरा मानव रहित मिशन 2022-23 में अंतरिक्ष भेजा जाएगा। यही नहीं इसके बाद उसके बाद मानव सहित अंतरिक्ष यान की योजना है।
गगनयान स्पेस प्रोग्राम के लिए चार भारतीय अंतरिक्ष यात्री रूस में स्पेस फ्लाइट ट्रेनिंग भी लेने गए थे। जिन्हें कोरोना काल में ही वापस बुलाया गया है। हालांकि उनकी ट्रेनिंग पूरी हो चुकी है।
Published on:
15 Jul 2021 10:41 am
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