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हेलीपैड बहा…सेना कैंप भी चपेट में आया, 8-10 जवान लापता: धराली में हर ओर तबाही, रेस्क्यू ऑपरेशन जारी

Uttarakhand Cloudburst: उत्तरकाशी के धराली में बादल फटने से तबाही मची हुई है। हर्षिल में स्थित भारतीय सेना का कैंप भी मलबे की चपेट में आ गया। इस हादसे में सेना के 8-10 जवान लापता बताए जा रहे हैं। रेस्क्यू ऑपरेशन जारी है।

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उत्तरकाशी में बादल फटने से भारी तबाही (Photo-IANS)

Uttarakhand Cloudburst: उत्तराखंड के उत्तरकाशी जिले के धराली गांव में मंगलवार, 5 अगस्त 2025 को बादल फटने से आई भीषण बाढ़ ने भयावह तबाही मचाई। खीर गंगा नदी में अचानक जलस्तर बढ़ने से धराली बाजार और आसपास के गांव जलमग्न हो गए। इस प्राकृतिक आपदा में कई घर, होटल और होमस्टे तबाह हो गए। वहीं, हर्षिल में स्थित भारतीय सेना का कैंप भी मलबे की चपेट में आ गया। इस हादसे में सेना के 8-10 जवान लापता बताए जा रहे हैं। हर्षिल में तैनात 14 राजरिफ यूनिट के जवान, अपने साथियों के लापता होने के बावजूद, राहत और बचाव कार्य में जुटे हुए हैं। मुश्किल हालातों के बावजूद करीब 20 लोगों को रेस्क्यू किया गया है। साथ ही जो लोग लापता हैं, उनकी तलाश जारी है।

रेस्क्यू ऑपरेशन में सेना, एनडीआरएफ और आईटीबीपी की टीमें सक्रिय

हादसे की सूचना मिलते ही भारतीय सेना, एनडीआरएफ, एसडीआरएफ और आईटीबीपी की टीमें तुरंत राहत कार्य में जुट गईं। सेना की एक टुकड़ी में करीब 80 जवान शामिल हैं, जो मलबे में फंसे लोगों को निकालने में लगे हैं। भारतीय वायुसेना भी रेस्क्यू ऑपरेशन के लिए तैयार है। वायुसेना के अधिकारी ने बताया कि चिनूक, MI-17, चीता और ALH हेलीकॉप्टर मौसम साफ होते ही चंडीगढ़ और अन्य एयरबेस से धराली के लिए रवाना होंगे। ये हेलीकॉप्टर राहत सामग्री और उपकरणों के साथ प्रभावित क्षेत्रों में पहुंचेंगे। इसके अलावा, सर्जन, एनेस्थेटिक, फिजीशियन और आर्थोपेडिक सर्जन की एक विशेष चिकित्सा टीम को भी धराली भेजा गया है ताकि घायलों को तत्काल उपचार मिल सके।

50 से अधिक लोग लापता

जिला प्रशासन के अनुसार, इस आपदा में अब तक 5 लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि 50 से अधिक लोग लापता हैं। धराली बाजार में मलबे और बाढ़ के पानी ने कई दुकानों, घरों और होटलों को तबाह कर दिया। उत्तरकाशी के जिलाधिकारी प्रशांत आर्य ने बताया कि खीर गंगा नदी में बादल फटने से अचानक पानी और मलबा नीचे आया, जिसने पूरे क्षेत्र को झील जैसा बना दिया। हर्षिल से 4 किमी दूर धराली में हुए भूस्खलन ने स्थिति को और गंभीर कर दिया। स्थानीय लोगों और पर्यटकों के फंसे होने की आशंका जताई जा रही है।

केंद्र और राज्य सरकार का त्वरित एक्शन

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने स्थिति का जायजा लेने के लिए देहरादून में स्टेट डिजास्टर ऑपरेशन सेंटर का दौरा किया और वरिष्ठ अधिकारियों के साथ बैठक की। उन्होंने सोशल मीडिया पर दुख व्यक्त करते हुए कहा कि राहत कार्य युद्धस्तर पर चल रहे हैं। पीएम नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह ने भी सीएम धामी से बात कर स्थिति की जानकारी ली और केंद्र से हर संभव मदद का आश्वासन दिया। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने भी पीड़ितों के प्रति संवेदना व्यक्त की। जिला प्रशासन ने हेल्पलाइन नंबर (01374-222126, 222722, 9456556431) जारी किए हैं।

मौसम विभाग की चेतावनी और चुनौतियां

भारतीय मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने 4 अगस्त को उत्तरकाशी सहित कई जिलों के लिए भारी बारिश का अलर्ट जारी किया था। मंगलवार को भी भारी बारिश की संभावना के कारण रेस्क्यू ऑपरेशन में बाधाएं आ सकती हैं। नेतला में भूस्खलन के कारण धराली तक पहुंचना मुश्किल हो रहा है। प्रशासन ने लोगों से नदियों से दूरी बनाए रखने और सुरक्षित स्थानों पर रहने की अपील की है।

धराली: पर्यटन स्थल पर प्रलय का मंजर

धराली, गंगोत्री धाम के रास्ते में एक प्रमुख पर्यटन स्थल है, जो हर्षिल से 7 किमी और उत्तरकाशी से 79 किमी दूर है। इस आपदा ने क्षेत्र की प्राकृतिक सुंदरता को तबाही में बदल दिया। प्रशासन और सेना की टीमें प्रभावित लोगों को सुरक्षित निकालने और नुकसान का आकलन करने में जुटी हैं।