
Pakistan to remain on 'Grey List' till October, FATF team to make on-site inspection
इस्लामाबाद। आतंकियों के खिलाफ कार्रवाई न करने और टेरर फंडिंग ( Terror Funding ) के मामले में पाकिस्तान की इमरान खान सरकार ( Pakistan Government ) को एक बार फिर से करारा झटका लगा है। दरअसल, दुनियाभर में टेरर फंडिंग पर नजर रखने वाली अंतर्राष्ट्रीय संस्था FATF ( Financial Action Task Force ) ने बुधवार को पाकिस्तान को एक बार फिर से झटका देते हुए 'ग्रे लिस्ट' में रखने का फैसला किया है।
एफएटीएफ का फैसला ऐसे समय में आया है, जब इमरान खान पूरी दुनिया में ये दिखाने की कोशिश कर रहे हैं कि पाकिस्तान आतंकियों के खिलाफ कार्रवाई कर रहा है और किसी भी तरह के आतंकी गतिविधियों को पाकिस्तान से अंजाम नहीं दिया जा रहा है। ऐसे में अब पाकिस्तान को 'ग्रे लिस्ट' ( Pakistan In Gray List ) में बरकरार रखने का फैसला इमरान खान के लिए एक बड़ा झटका है।
कोरोना संक्रमण ( Covid-19 ) के कारण वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए बुधवार को FATF की बैठक आयोजित की गई, जिसमें ये पाकिस्तान की ओर से टेरर फंडिंग व आतंकी गतिविधियों को रोकने के लिए उठाए गए कदमों की समीक्षा की गई। इसमें पाया गया कि FATF की ओर से दिए गए 27 एक्शन प्लान में से पाकिस्तान ने सिर्फ 13 पर ही कार्रवाई की है। लिहाजा, इस बैठक में पाकिस्तान को ग्रे लिस्ट में जारी रखने फैसला लिया गया। एफएटीएफ ने माना कि पाकिस्तान ने लश्कर-ए-तैयबा और जैश-ए-मोहम्मद जैसे आतंकी संगठनों की टेरर फंडिंग पर रोक लगाने के लिए कोई खास कदम नहीं उठाए।
बता दें कि बैठक में इस बात पर फैसला लिया जाना था कि क्या पाकिस्तान को ब्लैक लिस्ट में डाला जाए या ग्रे लिस्ट में बरकरार रखा जाए। आखिरकार एक बार फिर से पाकिस्तान को अपनी गलती सुधारने का मौका दिया गया और अकटूबर तक के लिए ग्रे लिस्ट में बरकरार रखने का फैसला किया गया।
पाकिस्तान को दो बार मिल चुका है एक्सटेंशन
आपको बता दें कि पाकिस्तान को इससे पहले बीते साल अक्टूबर के बाद से अब तक दो बार एक्सटेंशन मिल चुका है। इससे पहले अप्रैल 2020 तक के लिए पाकिस्तान को मौका दिया गया था। हालांकि कोरोना वायरस की वजह से एक्सटेंशन दिया गया था। इस बार भी कोरोना का हवाला देते हुए FATF ने उन सभी देशों को ग्रे लिस्ट में रखा है जो पहले इस लिस्ट में शामिल थे और जो देश ब्लैक लिस्ट में शामिल थे, उन्हें भी ब्लैक लिस्ट में बरकरार रखा है।
मफाइनेंशियल एक्शन टास्क फोर्स की तीसरी और अंतिम बैठक में चीनी प्रेसीडेंसी जियांगमिन लियू के नेतृत्व में आयोजित किया गया। इस बैठक में यह तय हुआ कि पाकिस्तान को अक्टूबर में होने वाली अगली मीटिंग तक के लिए 'ग्रे लिस्ट' में ही रखा जाएगा।
मीडिया रिपोर्ट्स में सूत्रों के हवाले से बताया गया है कि पाकिस्तान के फरवरी 2021 तक 'ग्रे लिस्ट' में बने रहने की संभावना है, भले ही वह अक्टूबर 2020 तक अपने सभी एक्शन प्लान को पूरा कर ले। क्योंकि प्लान पूरा होने की पुष्टि करने के लिए एफएटीएफ टीम की ओर से ऑन-साइट विजिट किया जाएगा।
Updated on:
25 Jun 2020 03:56 pm
Published on:
25 Jun 2020 03:40 pm
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