7 दिसंबर 2025,

रविवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

पाकिस्तान में फिर होने जा रहा तख्तापलट! इमरान दूसरे नवाज शरीफ और बाजवा परवेज मुशर्रफ होंगे साबित

पाकिस्तान में प्रधानमंत्री इमरान खान और सेना प्रमुख कमर जावेद बाजवा के बीच टकराव जगजाहिर हो चुका है। राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि पाकिस्तान में इमरान की विदाई की प्लानिंग शुरू हो गई है। बीते कुछ समय से पाकिस्तानी प्रधानमंत्री इमरान खान लगातार कमजोर पड़ रहे हैं। कमजोर अर्थव्यवस्था, बढ़ते कर्ज और महंगाई की वजह से उनके नेतृत्व पर सवाल उठे हैं।  

2 min read
Google source verification
imran.jpg

नई दिल्ली।

पाकिस्तान की जनता एक तरफ तंगहाली, महंगाई और आर्थिक संकट से जूझ रही है। वहीं, पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई के नए मुखिया की नियुक्ति को लेकर सरकार और सेना आपसी झगड़े में उलझी हुई है।

मीडिया रिपोर्ट के मुताबकि, इमरान खान का पाकिस्तान की कुर्सी से हटना अब लगभग तय सा हो गया है, क्योंकि पाकिस्तान की सेना और प्रमुख बाजवा इमरान खान को पद से हटाने की तैयारी कर रहे हैै। 20 नवंबर को लेफ्टिनेंट जनरल नदीम अंजुम आईएसआई के डीजी का पद संभालने जा रहे हैं। इसी को लेकर इमरान खान और आर्मी चीफ बाजवा के बीच तकरार है।

यह भी पढ़ें:-चीन में बढ़ रही बुजुर्ग आबादी, बच्चे पैदा करने के डर से लोग शादी भी नहीं कर रहे, उन्हें 'सरकार' से लगता है डर

एक ओर जहां बाजवा नदीम अंजुम को आईएसआई प्रमुख बनाना चाहते हैं, जबकि प्रधानमंत्री इमरान खान चाहते हैं कि वर्तमान आईएसआई मुखिया लेफ्टिनेंट जनरल फैज हमीद अपने पद पर बने रहें। नदीम अंजुम को चीफ ऑफ आर्मी स्टाफ कमर जावेद बाजवा का करीबी बताया जाता है, लेकिन वह इमरान खान की पसंद नहीं हैं।

रिपोर्ट में सूत्रों के हवाले से कहा गया है कि मौजूदा वक्त में इमरान खान के सामने अब दो ही विकल्प रखे गए हैं। पहला विकल्‍प यह है कि इमरान खान खुद 20 नवंबर से पहले पद से इस्‍तीफा दे दें और दूसरा विकल्‍प है कि संसद में विपक्ष इन-हाउस बदलाव करे। सूत्रों का कहना है कि इन दोनों ही विकल्‍पों में इमरान खान का प्रधानमंत्री पद से जाना तय है।

यह भी पढ़ें:- तो क्या जो बिडेन और शी जिनपिंग आज करने जा रहे 'टाइम पास मीटिंग', अमरीका ही कह रहा यह बैठक खास नहीं

सूत्रों ने कहा कि आने वाले हफ्तों में इमरान खान को और झटका लग सकता है, क्योंकि की इमरान की पार्टी पाकिस्‍तान तहरीक-ए-इंसाफ से उसके गठबंधन के दो दल मुतहिदा कौमी मूवमेंट और पाकिस्‍तान मुस्लिम लीग नाता तोड़ सकते हैं। ऐसे में इमरान की पार्टी कमजोर पड़ जाएगी।