
पाली। जोधपुर और पाली के बीच महज 23 किलोमीटर की दूरी में दो टोल प्लाजा हैं, जो नियमों के विरुद्ध है, जबकि दो टोल प्लाजा के बीच कम से कम 60 किमी दूरी होनी चाहिए। यहां आमजन की जेब काटी जा रही है, लेकिन जिम्मेदार टस से मस नहीं हो रहे। यह तो तब है जब केन्द्रीय सड़क एवं परिवहन मंत्री नितिन गडकरी घोषणा कर चुके कि 60 किमी दायरे में यदि एक से ज्यादा टोल है तो एक टोल हटाया जाएगा। जानकारी के अनुसार 1 अप्रेल से प्रदेशभर में टोल राशि और बढ़ा दी है, यानी पाली-जोधपुर के बीच निकलने वाले वाहन चालकों को अब और अधिक टोल चुकाना पड़ेगा। यहां 1 नवम्बर 2014 से टोल वसूला जा रहा है।
पाली से जयपुर 300 किलोमीटर की दूरी है। इस फोरलेन पर जाडन, रायपुर, ब्यावर, किशनगढ़ और बगरू में टोल प्लाजा संचालित है। सभी टोल प्लाजा के बीच की दूरी 60 किलोमीटर या इससे ज्यादा है। पाली से अहमदाबाद के बीच 380 की दूरी है। इस राजमार्ग पर भी सभी टोल प्लाजा निर्धारित दायरे में संचालित है।
पाली से जोधपुर की दूरी महज 72 किमी है। यहां के कारोबारियों को नियमित जोधपुर जाना पड़ता है। विश्वविद्यालय और अन्य कार्यों के लिए जोधपुर से जुड़ाव है। यहां पाली से शहर के निकट गाजनगढ़ और फिर दूसरा टोल प्लाजा 23 किमी पर निंबली में बना है।
केन्द्रीय सड़क एवं परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने 23 मार्च 2022 को लोकसभा में कहा था कि 60 किमी के दायरे में यदि एक से ज्यादा टोल है तो एक टोल हटा दिया जाएगा। इसके लिए तीन माह का समय भी दिया था। लेकिन यहां के जिम्मेदार अधिकारी केंद्रीय मंत्री की बात
जोधपुर में कई लोगों को पाली के आस-पास गांवों से मजदूरी पर जाना पड़ता है। इसके लिए वे निजी वाहनों में यात्रा करते हैं। दो स्थानों पर टोल चुकाने का बहाने निजी वाहन मजदूरों से भी अधिक वसूली कर रहे हैं। ऐसे ही पाली से दर्जनों छात्र-छात्राएं जोधपुर अध्ययन के लिए भी आते-जाते हैं।
टोल सरकार की स्वीकृति के बाद लगते हैं। इसमें सरकार की ओर से बंद करने का आदेश आएगा तो पालन किया जाएगा।
राहुल पंवार, एक्सइएन, एनएच, पाली
केन्द्रीय मंत्री को पत्र लिखकर इस पीड़ा से अवगत कराया जाएगा, ताकि एक टोल को हटाया जा सके। इतनी कम दूरी में दो टोल प्लाजा ठीक नहीं है।
संगीता बेनीवाल, कांग्रेस नेत्री
Updated on:
02 Apr 2025 03:35 pm
Published on:
02 Apr 2025 03:34 pm
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