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नए GST रेट लागू होने से पहले ही 6 लाख करोड़ रुपये का हो गया फायदा, पिछले 1 महीने में कुछ ऐसे बदली फिजा

GST Cuts Impact: पिछले एक महीने में टीवीएस मोटर, हीरो मोटोकॉर्प, सम्वर्धना मदरसन, एक्साइड इंडस्ट्रीज और अशोक लीलैंड के शेयर डबल डिजिट रिटर्न दे चुके हैं। कंज्यूमर ड्यूरेबल सेक्टर को भी काफी फायदा हुआ है।

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GST cuts impact on stock market

जीएसटी की नई दरें 22 सितंबर से लागू होंगी। (PC: Freepik)

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 15 अगस्त को जीएसटी दरों में राहत की घोषणा की थी। इसे अब एक महीना हो गया है। इस एक महीने में भारतीय शेयर बाजार में अच्छी-खासी तेजी दर्ज हुई है। इस एक महीने में भारतीय बाजार में खपत-आधारित उछाल देखी गई। ऑटो और कंज्यूमर ड्यूरेबल्स सेक्टर में जोरदार बढ़त आई है। निवेशक अपने पोर्टफोलियो को भारत की कंजंप्शन रिवाइवल स्टोरी के ईर्द-गिर्द पुनर्गठित कर रहे हैं। जीएसटी दरों में संशोधन की घोषणा के बाद पिछले एक महीने में भारतीय शेयर बाजार में निवशेकों को 6 लाख करोड़ रुपये का फायदा हो चुका है।

निफ्टी ऑटो इंडेक्स 11% उछला

निफ्टी ऑटो इंडेक्स ने पिछले एक महीने में 11% से अधिक की छलांग लगाई है। इसके 16 शेयरों का संयुक्त बाजार पूंजीकरण 5.13 लाख करोड़ रुपये बढ़ गया है। रॉयल एनफील्ड मैन्यूफैक्चरर आयशर मोटर्स 19% की तेज बढ़त के साथ सबसे बड़ा विनर रहा। जबकि भारत के सबसे बड़े कार मैन्यूफैक्चरर मारुति सुजुकी इंडिया के शेयर में 18% का उछाल आया है।

नई जीएसटी रेट्स 22 सितंबर को लागू होंगी। ये इस प्रकार होंगी-

-छोटी कारों पर 18% जीएसटी लगेगा। यह अभी सेस के साथ 28 से 31% के बीच पड़ता है।
-बड़ी एसयूवी पर 40% टैक्स लगेगा। यह अभी सेस के साथ 43 से 50% के करीब पड़ता है।
-350 सीसी से कम इंजन वाले दोपहिया वाहनों पर 18% जीएसटी लगेगा। यह अभी 28% है।

कंज्यूमर ड्यूरेबल सेक्टर में आई तेजी

ऑटो सेक्टर के साथ ही कंज्यूमर ड्यूरेबल सेक्टर भी पिछले एक महीने में शानदार तेजी देखने को मिली है। पिछले एक महीने में निफ्टी कंज्यूमर ड्यूरेबल्स इंडेक्स 5.6% उछला है। इससे बाजार पूंजीकरण में 78,000 करोड़ रुपये का इजाफा हुआ। फुटवियर कंपनी बाटा इंडिया ने 20% की शानदार तेजी के साथ इस बढ़त की अगुवाई की है। बता दें कि 2,500 रुपये से कम कीमत वाले फुटवियर पर जीएसटी घटकर 5% हो जाएगा।

इकोनॉमी में 96,000 करोड़ रुपये की नई डिमांड आएगी

भले ही जीएसटी दरों में कमी से सरकार के रेवेन्यू पर असर पड़ेगा। लेकिन यह असर जिनता होगा, उसका दोगुना फायदा इकोनॉमी में हो जाएगा। एक्सपर्ट्स के अनुसार, जीएसटी की नई दरों से सरकार के शुद्ध राजस्व में करीब 48,000 करोड़ रुपये की कमी आने का अनुमान है। लेकिन इससे इकोनॉमी में 96,000 करोड़ रुपये की नई डिमांड पैदा होगी। खपत बढ़ेगी, तो देश की जीडीपी में भी इजाफा होगा।

8-10% तक की बिक्री बढ़ने की उम्मीद

एमके ग्लोबल के सेशाद्रि सेन के कहा, 'इकोनॉमी बेस्ड सेगमेंट्स में दूसरी छमाही में रिकवरी को लेकर काफी आशावाद है। कंपनियों को 8-10% तक की बिक्री वॉल्यूम में बढ़ोतरी की उम्मीद है, जिसमें इकोनॉमी सेगमेंट्स पर सबसे ज्यादा प्रभाव होगा। निचले आय वर्ग के लिए अफोर्डेबिलिटी का असर कहीं ज्यादा है।' एमके ने सितंबर 2026 के लिए निफ्टी टार्गेट को 28,000 पर बनाए रखा है।

इन शेयरों को हुआ फायदा

टीवीएस मोटर, हीरो मोटोकॉर्प, सम्वर्धना मदरसन, एक्साइड इंडस्ट्रीज और अशोक लीलैंड के शेयर पिछले एक महीने में डबल डिजिट रिटर्न दे चुके हैं। निवेशक खपत की निरंतर रिकवरी पर दांव लगा रहे हैं। कंज्यूमर ड्यूरेबल्स में रैली बाटा से आगे बढ़कर पीजी इलेक्ट्रोप्लास्ट, एम्बर एंटरप्राइजेज, सेंचुरी प्लाइबोर्ड्स, डिक्सन टेक्नोलॉजीज और वोल्टास तक फैल गई है। इन सभी को जीएसटी कटौती से मिलने वाली अफोर्डेबिलिटी का लाभ मिला है। वहीं, घरेलू ब्रोकरेज फर्म Mirae Asset Sharekhan ने कहा, 'हमें लगता है कि ब्रिटानिया, नेस्ले, कोलगेट, एचयूएल, इमामी और डाबर जीएसटी कटौती के बड़े लाभार्थी होंगे।

जीडीपी में होगा इजाफा

उधर आईसीआईसीआई सिक्योरिटीज के विनोद कार्की ने कहा, 'जीएसटी, इनकम टैक्स और लोन पर ब्याज दरों में कटौती। इन सब से डिमांड पर Lollapalooza Effect पड़ता है। इससे विकास दर में ऊपर की ओर सरप्राइज मिल सकता है और आरबीआई के 6.5% ग्रोथ अनुमान में अपग्रेड भी संभव है।'