29 दिसंबर 2025,

सोमवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

बिहार: सीएम नीतीश कुमार ने लालू यादव से फोन कर पूछा हाल, सियासत हुई गर्म

बिहार के मुख्यमंत्री और जनता दल यूनाइटेड (जदयू) के अध्यक्ष नीतीश कुमार ने महागठबंधन सरकार से नाता तोड़ने के बाद पहली बार राष्ट्रीय जनता दल (राजद) प्रमुख लालू यादव से बात की है।

2 min read
Google source verification
सीएम नीतीश और लालू यादव

बिहार: सीएम नीतीश कुमार ने लालू यादव से फोन कर पूछा तबीयत का हाल, सियासत हुई गर्म

पटना। बिहार की राजनीति एक बार फिर से करवट लेती नजर आ रही है। दरअसल बिहार के मुख्यमंत्री और जनता दल यूनाइटेड (जदयू) के अध्यक्ष नीतीश कुमार ने महागठबंधन सरकार से नाता तोड़ने के बाद पहली बार राष्ट्रीय जनता दल (राजद) प्रमुख लालू यादव से बात की है। दरअसल लालू यादव की तबीयत खराब है जिसको लेकर नीतीश कुमार ने फोन कर उनका हालचाल जाना। हालांकि इससे पहले तेजप्रताप की शादी में लालू और नीतीश कुमार मिल चुके हैं।

सीटों के बंटवारे को लेकर भाजपा और जदयू में तकरार

आपको बता दें कि नीतीश कुमार के लालू यादव को फोन कर हालचाल जानने के बाद से सियासत तेज हो गई है। अब कयास लगाए जा रहे हैं कि क्या भाजपा को छोड़कर एक बार फिर से नीतीश महागठबंधन का हिस्सा होगें? दरअसल अभी हाल ही में भाजपा ने जम्मू-कश्मीर में अचानक पीडीपी के साथ गठबंधन तोड़कर सबको चौंका दिया था जिसके बाद से राजनीतिक गलियारों में बिहार की सियासत को लेकर चर्चाएं शुरु हो गई है। अब बदले राजनीतिक महौल में जदयू और भाजपा के बीच सीट बंटवारे को लेकर कसमकस चल रहा है। इसबीच नीतीश का लालू यादव के साथ फोन पर बातचीत करना एक नए राजनीतिक समीकरण की ओर इशारा कर रहा है। बता दें कि नीतीश कुमार ने आपातकाल की बरसी पर भाजपा पर अप्रत्यक्ष रूप से निशाना साधा था और कहा था कि कुछ लोग समाज में टकराव और तनाव की राजनीति कर रहे हैं और धर्म के नाम पर वोटरों को डरा रहे हैं।

तेजस्वी का सीएम नीतीश पर तंज, JDU के लिए महागठबंधन के दरवाजे हमेशा के लिए बंद

जम्मू-कश्मीर में भाजपा ने पीडीपी के साथ तोड़ा था गठबंधन

आपको बता दें कि आगामी आम चुनाव को देखते हुए भाजपा ने एक बड़ा कदम उठाते हुए जम्मू-कश्मीर में पीडीपी से अपना समर्थन वापस ले लिया जिसके बाद से महबूबा सरकार गिर गई और अब राज्य में राज्यपाल शासन लागू है। भाजपा के इस कदम के बाद राजनीति में बिहार को लेकर भी चर्चाएं शुरू हो गई है। क्योंकि लोकसभा चुनाव के लिए भाजपा और जदयू के बीच सीट बंटवारे को लेकर रस्साकस्सी चल रहा है। दोनों दलों के नेता एक-दूसरे के खिलाफ बयान दे रहे हैं। जहां जदयू आगामी आम चुनाव के लिए 25 सीटों पर दावा कर रही है और नीतीश की अगुवाई में चुनाव लड़ने की बात कर रहे हैं वहीं भाजपा इससे इनकार कर रही है। बिहार में एनडीए के साथ लोजपा और रालोसपा भी शामिल है जो कि नीतीश की मांग पर नाराज हैं। रालोसपा के नेता ने तो यहां तक कह दिया कि नीतीश की अगुवाई वे स्वीकार नहीं करेंगे।