
नई दिल्ली:चारा घोटाला के चौथे मामले में आरजेडी अध्यक्ष लालू प्रसाद को रांची की सीबीआई की विशेष अदालत ने दो धाराओं में सात-सात साल की सजा सुनाई है। इसके बाद उनके पुत्र और बिहार के पूर्व उपमुख्यमंत्री तेजस्वी प्रसाद यादव ने कहा कि इस फैसले के खिलाफ हाईकोर्ट में अपील करेंगे। इसके साथ ही तेजस्वी ने बीजेपी सरकार पर सनसनीखेज आरोप लगाते हुए कहा कि जेल में उनके पिता की जान को खतरा है।
'परिवार के खिलाफ बीजेपी रच रही षड्यंत्र'
तेजस्वी ने सजा सुनाए जाने के बाद पटना में पत्रकारों से कहा कि हम इस फैसले को पूर्व के फैसले की तरह हाईकोर्ट में चुनौती देंगे। इस फैसले को पढ़ने के बाद इस पर कानूनी कार्रवाई की रणनीति तैयार की जाएगी।उन्होंने आगे कहा कि बीजेपी के लोग जिस तरह हमारे परिवार के खिलाफ षड्यंत्र रच रहे हैं, मुझे आशंका है कि अब लालू जी की जान को खतरा है।"
चारा घोटाले में लालू को सबसे बड़ी सजा
चारा घोटाला के दुमका कोषागार से अवैध निकासी मामले में शनिवार को रांची की सीबीआई की विशेष अदालत ने लालू प्रसाद को अब तक की सबसे बड़ी सजा सुनाते हुए दो धाराओं में सात-सात साल की सजा सुनाई है। इसके साथ ही उन पर 60 लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया गया है। हालांकि, अभी यह स्पष्ट नहीं है कि ये दोनों सजाएं एक साथ चलेंगी या अलग-अलग। लालू यादव के वकील ने कहा कि शाम तक यह स्पष्ट हो जाएगा। सीबीआई जज शिवपाल सिह ने सजा का ऐलान कर दिया।
7-7 साल की जेल और 60 लाख रुपए जुर्माना
बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री के वकील प्रभात कुमार ने बताया कि लालू प्रसाद को भारतीय दंड संहिता के तहत सात साल कैद की सजा सुनाई गई है और साथ में 30 लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया गया है। इसके साथ ही भ्रष्टाचार निवारक अधिनियम के तहत सात साल कैद की सजा सुनाई है और 30 लाख रुपये का जुर्माना लगाया है।
Published on:
24 Mar 2018 04:10 pm
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