28 दिसंबर 2025,

रविवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

ASP नीरज ने चंद्राकर कहा – अपराधियों को सड़क पर दौड़ा-दौड़ाकर पीटना मुझे पसंद

ASP नीरज ने कहा - कांग्रेसियों ने महिला पुलिसकर्मियों का हाथ पकड़कर खींचा, इसलिए लाठियों से पीटा

2 min read
Google source verification
ASP Neeraj Chandrakar

ASP नीरज ने कहा - कांग्रेसियों ने महिला पुलिसकर्मियों का हाथ पकड़कर खींचा, इसलिए लाठियों से पीटा

आवेश तिवारी@रायपुर. बिलासपुर में कांग्रेस नेताओं-कार्यकर्ताओं पर लाठीचार्ज करने वाले एएसपी नीरज चंद्राकर का कहना है कि उन्हें इसका बिल्कुल अफसोस नहीं है। कांग्रेसियों ने पुलिसकर्मियों पर कचरा फेंका और महिला पुलिसकर्मी का हाथ पकड़कर खींचा। 'पत्रिका' से खास बातचीत में एएसपी चंद्राकर ने इस मामले से जुड़े कई सवालों के जवाब दिए।

लाठीचार्ज से पहले क्या अफसरों से इजाजत लिया था?
नीरज चंद्राकर : किसी से इजाजत नहीं ली थी। मैं राजपत्रित अधिकारी हूं। मंत्री अमर अग्रवाल के घर के सामने कांग्रेस नेताओं ने पुलिस से झूमाझटकी की थी। पुलिस के ऊपर कचरा फेंका गया तथा महिला पुलिसकर्मी को धक्का मारा गया था। एक कांग्रेसी ने एक महिला पुलिसकर्मी का हाथ पकड़ कर खींचा था। यह कैसे बर्दाश्त किया जा सकता है ? 186, 353 के वो सभी लोग आरोपी थे। उनकी गिरफ्तारी के लिए हम कांग्रेस भवन गए थे। उनकी संख्या ज्यादा थी। हम हल्का बलप्रयोग कर सकते थे, हमने किया।

आपकी उस रोज अमर अग्रवाल से कोई बात हुई थी। उन्होंने कोई शिकायत दर्ज कराई थी?
चंद्राकर : नहीं, मंत्री अमर अग्रवाल की तरफ से कोई एफआइआर दर्ज नहीं कराई गई है। एफआइआर पुलिसकर्मियों की ओर से दर्ज हुई है।

आपको घटना को लेकर कोई अफसोस है?
चंद्राकर : नहीं, बिल्कुल भी अफसोस नहीं है ।

आप पर रायपुर में एक महिला पुलिस अधिकारी के पति और परिजनों को हिरासत के दौरान बेल्ट और लात-घूंसों से पीटने का आरोप है?
चंद्राकर : उस मामले में बेमतलब मुझे आरोपी बना गया था। अब उनका पति मुझे भाई बोलता है। उस वक्त उन लोगों ने मेरा नाम आरोपियों में इसलिए लिखा दिया, क्योंकि मैं वहां पोस्टेड था। मैंने रायपुर में रहते गुंडों-बदमाशों को मारा और उनका जुलूस निकाला था, मैं यह स्वीकारता हूं। आपराधिक तत्त्वों के लिए मैं सख्त हो जाता हूं। अभी जैसे हत्या के एक आरोपी को मैंने कॉलोनी में घुमा-घुमाकर पीटा, जी भर के पीटा।

आपने अटल श्रीवास्तव के सिर पर लाठी क्यों मारी?
चंद्राकर : मैंने डंडा जरूर चलाया था, लेकिन वो सिर पर नहीं लगा। बिना डंडा लगे वह सिर पकड़कर बैठ गए। हां, बैठने पर लाठी से मारा।