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CG News: समर्थन मूल्य पर धान उपार्जन की विस्तृत नीति घोषित, 2739 पुराने और नए स्वीकृतकेंद्रों पर होगी धान की खरीदी

CG News: प्रदेश में धान उपार्जन प्रक्रिया पूरी तरह कम्प्यूटरीकृत व पारदर्शी होगी। किसान अपने निकटस्थ समितियों में पंजीकरण कर एग्रीस्टेक पोर्टल के माध्यम से धान विक्रय कर सकेंगे।

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CG Dhan Kharidi: आज से धान खरीदी का श्रीगणेश, पहले दिन 34 केंद्रों में 116 किसानों से होगी धान खरीदी

धान (Photo Patrika)

CG News: राज्य शासन ने खरीफ विपणन वर्ष 2025-26 के लिए समर्थन मूल्य पर धान उपार्जन की विस्तृत नीति घोषित की है। यह निर्णय मुख्यमंत्री विष्णु देव साय के नेतृत्व में किसानों के हितों और पारदर्शिता को ध्यान में रखते हुए लिया गया है। खाद्य विभाग की सचिव रीना कंगाले ने जानकारी दी कि धान की खरीदी 3100 प्रति क्विंटल की दर पर की जाएगी। धान उपार्जन का कार्य 15 नवंबर से 31 जनवरी 2026 तक किया जाएगा।

इस वर्ष भी प्रति एकड़ अधिकतम 21 क्विंटल धान खरीदा जाएगा। उन्होंने बताया कि प्रदेश के सभी जिलों में विगत वर्ष संचालित 2739 खरीदी केंद्रों और नए स्वीकृत केंद्रों में खरीदी होगी। इसके साथ ही 55 मंडियों और 78 उपमंडियों का उपयोग धान उपार्जन केंद्र के रूप में किया जाएगा। धान खरीदी का सम्पूर्ण कार्य छत्तीसगढ़ राज्य सहकारी विपणन संघ के माध्यम से किया जाएगा।

सार्वजनिक वितरण प्रणाली के लिए चावल की उपलब्धता सुनिश्चित करने की नोडल एजेंसी छत्तीसगढ़ स्टेट सिविल सप्लाइज कॉर्पोरेशन लिमिटेड होगी। धान खरीदी केवल उन्हीं प्राथमिक कृषि साख समितियों और लेम्पस के माध्यम से होगी जो मार्कफेड के कम्प्यूटरीकरण कार्यक्रम से जुड़ी होंगी। धान खरीदी मार्कफेड द्वारा राज्य शासन के निर्देशानुसार की जाएगी, ताकि किसानों को समय पर भुगतान में कोई विलंब न हो। प्रदेश में धान उपार्जन प्रक्रिया पूरी तरह कम्प्यूटरीकृत व पारदर्शी होगी। किसान अपने निकटस्थ समितियों में पंजीकरण कर एग्रीस्टेक पोर्टल के माध्यम से धान विक्रय कर सकेंगे। पोर्टल पर ऋण-पुस्तिका आधारित फार्म आईडी से खरीदी की अनुमति दी जाएगी।

नए पुराने जूट बोरे में होगी खरीदी

धान की खरीदी 50:50 अनुपात में नए और पुराने जूट बोरे में की जाएगी। नए जूट बोरे मार्कफेड द्वारा जूट कमिश्नर, कोलकाता से क्रय किए जाएंगे। पुराने बारदानों को नीले रंग में यूज्ड बैग अलाउड फॉर केएमएस 2025-26 का स्टेंसिल लगाया जाएगा।

कांटे-बांट का सत्यापन अनिवार्य

केन्द्रों में कांटे-बांट का विधिक सत्यापन अनिवार्य है। किसानों को पारदर्शी प्रक्रिया का भरोसा दिलाने के लिए सत्यापन प्रमाणपत्र खरीदी केन्द्रों पर प्रदर्शित किए जाएंगे। धान की नमी 17त्न से अधिक नहीं होनी चाहिए। हर केन्द्र पर आर्द्रतामापी यंत्र उपलब्ध रहेंगे।

भुगतान सीधे खाते में होगा

किसानों के खाते में भुगतान पीएफएमएस सिस्टम के माध्यम से किया जाएगा। यह सुनिश्चित किया गया है कि राशि केवल किसान के खाते में ही अंतरण हो; किसी अन्य व्यक्ति के खाते में भुगतान नहीं किया जाएगा।

इसबार… ऋण-पुस्तिका लाने की जरूरत नहीं

केंद्र सरकार कृषि मंत्रालय के एग्रीस्टैक पंजीयन आईडी के आधार पर एकीकृत किसान पंजीयन पोर्टल में कराए पंजीयन फार्मर आईडी से होगा। किसान लिंकिंग खरीदी एवं समिति में एग्रीस्टैक पंजीयन होने से समिति में ऋण पुस्तिका लाने की आवश्यकता नहीं होगी। धान खरीदी के लिए किसानों को टोकन जारी कर नियंत्रित और व्यवस्थित प्रक्रिया अपनाई जाएगी। सीमांत व लघु किसानों को दो टोकन और दीर्घ किसानों को तीन टोकन दिए जाएंगे। अंतिम दिन नई पर्ची जारी नहीं होगी और शाम 5 बजे तक पहुंचे धान की खरीदी उसी दिन की जाएगी।

संवेदनशील केंद्रों पर उड़नदस्ता से निगरानी

उपार्जन केंद्रों को अतिसंवेदनशील, संवेदनशील और सामान्य श्रेणियों में वर्गीकृत किया गया है। संवेदनशील तथा अतिसंवेदनशील उपार्जन केंद्रों पर विशेष निगरानी रखी जाएगी। इन केंद्रों पर पृथक नोडल अधिकारी नियुक्त किये जाएंगे। इसके अलावा इंटीग्रेटेड कंट्रोल एंड कमांड सेंटर से प्राप्त अलर्ट संदेशों के आधार पर उड़नदस्ता दल कार्रवाई करेगी।