31 दिसंबर 2025,

बुधवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

डीएससी प्लांट के श्रमिक की कोरोना से मौत

परिजनों का आरोप प्लांट में लेड की मात्रा अधिक होने से हुई मौत उचित मुआवजे की मांग, श्रमिकों ने काम बंद कर शुरू किया प्रदर्शन

2 min read
Google source verification
डीएससी प्लांट के श्रमिक की कोरोना से मौत

डीएससी प्लांट के श्रमिक की कोरोना से मौत

रेलमगरा. हिंदुस्तान जिंक के दरीबा में संचालित स्मेल्टर कॉम्लेक्स में कार्यरत एक श्रमिक की शनिवार सुबह उदयपुर के एक चिकित्सालय में कोरोना से मौत हो गई। इसके बाद प्लांट के श्रमिकों ने मौके पर काम बंद कर जिंक प्रबंधन से मृतक के परिजनों को उचित मुआवजा दिलाने की मांग को लेकर प्रदर्शन शुरू कर दिया।पीपली डोडियान निवासी एक श्रमिक दरीबा के स्मेलटर प्लांट में कार्यरत था। कुछ दिनों पूर्व उसकी तबीयत खराब होने पर परिजनों ने उसे उपचार के लिए उदयपुर के एक चिकित्सालय में भर्ती कराया। चिकित्सकों ने को टाइफाइड की शिकायत होने की जानकारी देते हुए उपचार शुरू किया। वहीं 2 दिन पूर्व उसकी कोरोना रिपोर्ट भी पॉजिटिव आने पर उदयपुर के चिकित्सालय में ही उसका कोरोना का उपचार शुरू किया गया। इस बीच शुक्रवार देर शाम को उसे सांस लेने में दिक्कत होने पर चिकित्सकों ने वेंटिलेटर पर भी रखा, लेकिन शनिवार सुबह उसकी मौत हो गई। इस संबंध में परिजनों ने श्रमिक की मौत कोरोना से नहीं, बल्कि प्लांट में लेड की मात्रा ज्यादा होने व दूषित वातावरण से होने का आरोप लगाया है।श्रमिक की मौत की सूचना मिलते ही प्लांट में श्रमिक एकत्रित हो गए और काम बंद करते हुए मुख्य प्रवेश द्वार के बाहर आकर जिंक प्रबंधन के विरुद्ध नारेबाजी शुरू कर दी। मामले की जानकारी मिलने पर रेलमगरा थाना अधिकारी छगन पुरोहित मय जाप्ते मौके पर पहुंचे और प्रदर्शनकारियों से समझाईश का प्रयास किया, लेकिन श्रमिक अपनी मांग पर अड़े रहे। श्रमिक मृतक के परिजनों को जिंक प्रबंधन द्वारा पूर्व में निर्धारित मुआवजे का समुचित भुगतान करने के साथ परिवार के एक सदस्य को नौकरी देने की मांग पर अड़े रहे। मौके पर स्थिति को देखते हुए पुलिस लाइन से अतिरिक्त जाप्ते के साथ कुंवारिया थाने का जाप्ता रेलमगरा पहुंच गया। देर शाम तक प्रदर्शनकारी श्रमिकों एवं जिंक प्रबंधन के मध्य समझौता नहीं हो सका। देर शाम को गांव पहुंचाया शवमृतक का शव शनिवार देर शाम रेलमगरा थाना क्षेत्र के पीपली डोडियान गांव लाया गया। मृतक श्रमिक के परिजनों ने आरोप लगाया कि श्रमिक की मौत कोरोना की वजह से नहीं बल्कि स्मेल्टर कॉम्पलेक्स में लेड की मात्रा अधिक होने एवं वातावरण दूषित होने से हुई है। परिजनों ने यह भी आरोप लगाया कि मृतक श्रमिक के फेफड़े लेड की वजह से पूरी तरह से खराब हो चुके थे, जिसकी वजह से उसके स्वास्थ्य में दिनों दिन गिरावट आ रही थी। आरोप लगाते हुए बताया कि प्लांट में कार्यरत अन्य श्र

मिकों के स्वास्थ्य की स्थिति भी इसी तरह बनी हुई है।