अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी के छात्र संघ हाल में पाकिस्तान के संस्थापक मोहम्मद अली जिन्ना की तस्वीर का मामला अभी भी शांत होने का नाम नही ले रहा है। देवबंदी आलिम ने भी इसे गलत बताते हुए कहा है कि इस्लाम धर्म में तस्वीरें खिचवाना व लगाना गलत है।
केवल उन जरूरी चीजों मे ही फाेटाे इस्तेमाल किए जा सकते हैं जाे बेहद जरूरी है। जैसे पासपोर्ट पहचान पत्र या आधार कार्ड के लिए ही फाेटाे इस्तेमाल किए जा सकते हैं। बतादें कि बरेली स्थित आला हजरत दरगाह ने जिन्ना की तस्वीर पर फतवा जारी किया है इसे गलत बताया है। इस फतवे का समर्थन करते हुए देवबन्दी आलिम ने जिन्ना की तस्वीर काे नाजायज बताया है। बरेली उलेमाओं के फतवे का समर्थन करते हुए मुफ्ती अजफर हुसैन
( नायब शहर काजी देवबंद ) ने कहा है कि इस्लाम धर्म के अनुसार तस्वीर खींचना खिंचवाना घर के अंदर या कहीं भी लगाना नाजायज और गलत है। तस्वीर घरों मे बिल्कुल भी नहीं लगानी चाहिए और सिर्फ सरकारी उन चीजों में जिसमें सरकार ने कह रखा है जैसे पासपोर्ट आधार कार्ड पहचान पत्र उनमें ही इस्तेमाल करनी चाहिए। जिन्ना की जो तस्वीर लगी हुई है वो बिल्कुल नाजायज है और अगर हम पाकिस्तानी यूनिवर्सिटी से कहें कि पाकिस्तान भी अपनी यूनिवर्सिटी में चौराहे पर गांधी जी की तस्वीर लगाएं जो हमारे महापुरुष थे। हम उनको महापुरुष मानते हैं गांधी जी को तो क्या पाकिस्तान इस बात को मान लेगा। हम बरेलवी के उस फतवे का समर्थन करते हैं