
deoband Darul Uloom
सहारनपुर। पत्रिका (Patrika.com) की खबर का बड़ा असर सामने आया है। सहारनपुर जिलाधिकारी ने विश्व विख्यात देवबंद दारूल उलूम में कथित रूप से बनाए जा रहे (हैलीपैड और दारुल उलूम में परिसर में बनाई जा रही बहुमंजिला इमारत) मामले में जांच बैठा दी है। देवबंद दारूल उलूम के खिलाफ पहली बार जांच बैठाए जाने के आदेशाें काे लेकर हड़कंप मच गया है। यह आदेश पूरे देवबंद में चर्चा का विषय बने हुए हैं।
देवबंद कस्बा ''दारूल उलूम'' की वजह से विश्वभर में इल्म की नगरी के रूप में विख्यात है। देवबंद दारूल उलूम की वजह से ही भारत का यह छाेटा सा कस्बा ''देवबंद'' पूरी दुनिया में अपनी अलग पहचान रखता है। इन दिनाें Deoband Darul Uloom में बेहद खूबसूरत बहुमंजिला इमारत वाली लाईब्रेरी का निर्माण कराया जा रहा है। इस लाईब्रेरी काे लेकर दारूल उलूम परिसर में यह आम चर्चा है कि लाईब्रेरी की छत पर एक हैलीपैड का निर्माण भी कराया जा रहा है।
फरवरी 2018 में पत्रिका ने देवबंद दारूल परिसर में बन रही इस भव्य बहुमंजिला इमारत के बारे में बताते हुए अपने पाठकाें काे यह भी जानकारी दी थी कि लाईब्रेरी की छत पर एक हैलीपैड भी बनाया जा रहा है। खबर प्रकाशित हाेने के बात यह मामला सुर्खियाें में आ गया था। इसके बाद स्थानीय प्रशासन ने इस मामले की गुपचुपत तरीके से जंच पड़ताल शुरु करा दी थी।
पिछले दिनाें दारुल उलूम के माेहतमिम यानी कुलपति काे एक नाेटिस स्थानीय प्रशासन की ओर जारी किया गया। इस नाेटिस में उनसे कहा गया कि वह दारूल उलूम की लाईब्रेरी पर बनाए जा रहे हैलीपैड का अनुमति प्रमाण पत्र और अनापत्ति प्रमाण प्रस्तुत करें, लेकिन उनकी ओर से काेई प्रमाण पत्र नहीं दिखाया गया।
सहारनपुर जिलाधिकारी आलाेक कुमार पांडेय के अनुसार अवर अभियंता विनियमित क्षेत्र देवबंद की ओर से उन्हे लिखित में यह सूचना भेजी गई थी कि दारूल में बन रही लाईब्रेरी की छत पर हैलीपैड बनाया जा रहा है। इस बारे में दारुल उलूम के माेहतमिम यानी कुलपति काे 26 जून 2019 काे पत्राचार के माध्यम से हैलीपैड बनाने का अनुमति पत्र और अनापत्ति प्रमाण दिखाए जाने काे कहा गया लेकिन उनकी ओर से यह जवाब भेज दिया गया कि दारुल उलूम की लाईब्रेरी की छत पर काेई भी हैलीपैड नहीं बनाया जा रहा है।
इसके बाद कुलपति से लाईब्रेरी निर्माण कार्य से संबंध में अनुमति पत्र एवं अनापत्ति प्रमाण पत्र प्रस्तुत किए जाने के लिए कहा गया लेकिन तय अवधि बीत जाने के बाद भी उनकी ओर से काेई जवाब नहीं भेजा गया। इस पत्राचार का काेई जवाब नहीं दिए जाने के बाद अब इस मामले में जिलाधिकारी आलाेक कुमार ने ने जांच बैठा दी है। जांच दल अब देवबंद दारूल उलूम में जाकर वहां चल रहे निर्माण कार्य की जांच करेगा अगर यह निर्माण अवैध पाया गया ताे निर्माण कार्य पर राेक लगाई जाएगी।
Published on:
21 Jul 2019 12:55 am
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