
नई दिल्ली। धरती पर प्रदूषण का स्तर निरंतर बढ़ता ही जा रहा है जिससे कि ग्रीन हाउस पर काफी बुरा प्रभाव पड़ता है लेकिन यदि प्रदूषण और पृथ्वी की तापमात्रा बढ़ाने वाले कार्बन डाईऑक्साइड को किसी उपयोगी वस्तु में बदला जा सके तो यह हमारे पर्यावरण के लिए बहुत ही फायदेमंद होगा। लेकिन ऐसा करना संभव नहीं हो पा रहा था लेकिन आपको बता दें कि हाल ही में वैज्ञानिकों ने इस कल्पना को साकार करते हुए एक ऐसे उत्प्रेरक का निर्माण किया है जिसकी मदद से कार्बन डाईऑक्साइड को एथिलीन में बदला जाएगा।
एथिलीन का सबसे ज्य़ादा उपयोग प्लास्टिक के निर्माण में किया जाता है। आपकी जानकारी के लिए बता दें कि बिजली का प्रयोग करके जो रासायनिक प्रतिक्रिया कराई जाती है उसके बाद कार्बन डाईऑक्साइड अपने मूल तत्वों में टूटकर कई अन्य रसायनों का निर्माण करती है। इस प्रतिक्रिया में कई उत्प्रेरकों की सहायता ली जाती है।
उत्प्रेरक कई सारी रसायनिक क्रियाओं की गति बढ़ाने का काम करती हैं जैसे कि सोने, चांदी, जिंक और तांबे का उपयोग उत्प्रेरक के रूप में किया जा सकता है लेकिन इन सबमें केवल तांबे के प्रयोग से ही एथिलीन का निर्माण करना संभव हो पाता है।
कनाडा में उपस्थित टोरंटो यूनिवर्सिटी के शोधकर्ताओं से जब इस बारे में पूछा गया तो उनका कहना था कि तांबा, कार्बन डाईऑक्साइड से मीथेन, इथेनॉल और एथिलीन का निर्माण कर सकती है। लेकिन तांबा किस तत्व का निर्माण करेगा इसको नियंत्रित करना काफी मुश्किल है और इसी बात को ध्यान में रखते हुए वैज्ञानिकों ने एक नए उत्प्रेरक का निर्माण किया है जिसकी मदद से एथिलीन का अधिक से अधिकतम उत्पादन किया जा सकता है।
इस प्रक्रिया से वातावरण में फैलने वाले कॉर्बन डाईऑक्साइड को काफी हद तक कम किया जा सकता है और तो और वैज्ञानिकों का ये भी कहना है कि इस प्रक्रिया की मदद से आने वाले समय में उर्जा की मांग को भी पूरा किया जा सकता है। ये प्रक्रिया वाकई में वातावरण और सभी जीवों के लिए काफी लाभदायक होगी।
Published on:
19 Jan 2018 12:54 pm
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